जुबिली स्पेशल डेस्क
नई दिल्ली। पांच राज्यों में होने वाले विधानसभा चुनावों की डेट सामने आ चुकी है। ऐसे में राजनीतिक दलों ने इस चुनावी दंगल को जीतने के लिए पूरी ताकत झोंक डाली है। वोटरों के बीच अपनी बात रखने के लिए राजनीतिक दल कई चीजों का सहारा लेते दिखायी पड़ रहे हैं।
उधर विदेशों में रहने वाले प्रवासी भारतीय मतदाताओं को उस वक्त झटका लगा जब पांच राज्यों में होने वाले विधानसभा चुनावों में वोट नहीं डाल सकेगे।
जानकारी मिल रही है इन चुनावों में भारतीय मतदाताओं को इलेक्ट्रॉनिक ट्रांसमिटेड पोस्टल बैलट सिस्टम की सुविधा नहीं दी जा रही है। इस वजह से वोट नहीं डाल सकेंगे।
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इसको लेकर मुख्य चुनाव आयुक्त सुनील अरोड़ा का बयान भी सामने आ रहा है। हालांकि उन्होंने अभी तक इसको लेकर अभी तक कोई ठोस जवाब नहीं दिया है।
मुख्य चुनाव आयुक्त सुनील अरोड़ा के अनुसार चुनाव आयोग ने इसके लिए एक रास्ता निकालने को लेकर डेढ़ महीने पहले कानून मंत्रालय को एक बहुत ही संवेदनशील और बहुत ही सकारात्मक नोट भेजा है।
उन्होंने आगे कहा कि कानून मंत्रालय ने इस मामले को विदेश मंत्रालय को भेज दिया। मैंने विदेश सचिव से भी बात की। उन्होंने विस्तार से जवाब दिया है और उन्होंने कहा है कि हमें हितधारकों के साथ एक व्यापक बैठक करनी चाहिए। उन्होंने कहा कि बैठक एक महीने के भीतर हो सकती है।
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वहीं सरकार चाहती है कि चुनाव आयोग सुविधा देने से पहले विभिन्न हितधारकों से परामर्श करें। मुख्य चुनाव आयुक्त सुनील अरोड़ा पश्चिम बंगाल, तमिलनाडु, केरल, असम और पुडुचेरी के विधानसभा चुनावों में प्रवासी मतदाताओं को इलेक्ट्रॉनिक ट्रांसमिटेड पोस्टल बैलट सिस्टम (ईटीपीबीएस) की सुविधा देने को लेकर अभी कुछ भी नहीं कहा है।
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बता दें कि पांच राज्यों में विधान सभा चुनाव की तैयारी जोरों पर चल रही है। बीजेपी से लेकर कांग्रेस इन राज्यों में अपनी सरकार बनाने के लिए रणनीति बनाने में जुट गई है।