जुबिली स्पेशल डेस्क
उत्तर प्रदेश की योगी सरकार इन दिनों चर्चा में है। दरअसल योगी सरकार के दूसरे कार्यकाल के 100 दिन पूरे हो चुके हैं लेकिन ट्रांसफर के ‘खेल’ ने सबकी नींद उड़ा दी है। खुद ट्रांसफर के ‘खेल’ में योगी सरकार के मंत्री भी अपनी सरकार से खफा नजर आ रहे हैं। इतना ही नहीं योगी सरकार के तीन मंत्री इस वक्त सबकी निगाहों में पर आ गए है।
पहले बात डिप्टी सीएम बृजेश पाठक की। उनके स्वास्थ्य मंत्रालय में विभाग में हुए तबादलों पर कई तरह के सवाल है जबकि कल जितिन प्रसाद के पीडब्लूडी विभाग में हुए ट्रांसफर पर सीएम योगी ने जांच बैठा दी है। वहीं जलशक्ति मंत्रालय में भी तबादलों को लेकर खींचतान की खबरें अब किसी से छुपी नहीं है। जलशक्ति राज्यमंत्री दिनेश खटीक भी सुर्खियों में हैं।
ऐसे में खबरे तो यहां तक आ रही है तीन मंत्री अपनी सरकार से काफी नाराज है और इस्तीफा देने पर भी विचार कर सकते हैं। हालांकि तीन मंत्रियों ने फिलहाल इस मामले पर अपनी चुप्पी साध रखी है। भ्रष्टाचार के खिलाफ मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की सख्ती पिछली सरकार में भी देखने को मिली थी।
जितिन प्रसाद इसलिए आए चर्चा में
कल जितिन प्रसाद के ओएसडी अनिल कुमार पांडेय पर गाज गिरी है। इतना ही नहीं जितिन प्रसाद के मंत्रालय लोक निर्माण विभाग में 350 से अधिक इंजीनियर्स का तबादले पर सीएम योगी ने जांच बैठाई है। मामला यही खत्म नहीं हुआ है भारत सरकार से प्रतिनियुक्ति पर आए अपर सचिव अनिल पांडेय के खिलाफ विजिलेंस जांच और विभागीय कार्रवाई की भी सिफारिश भी सरकार ने कर दी है।
उधर माना जा रहा है कि केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह से दिल्ली में मुलाकात कर तबादलों पर कार्रवाई और जांच को लेकर जितिन प्रसाद अपना पक्ष रख सकते हैं। इससे पहले उन्होंने सीएम योगी से भी मुलाकात की है।
अंदर की खबर ये हैं कि लोक निर्माण विभाग में बड़ी कार्रवाई के बाद मंत्री जितिन प्रसाद नाराज हैं, लेकिन उनकी नाराजगी अभी तक सामने नहीं आई है। जतिन प्रसाद के पीडब्ल्यूडी विभाग में हुए ट्रांसफर को लेकर इसलिए भ चर्चा हो रही है क्योंकि ऐसे अधिकारियों का ट्रांसफर हुआ जिनका निधन तीन साल पहले हो चुका था।
जूनियर इंजीनियर घनश्याम दास का तबादला झांसी कर दिया गया था जिनका निधन काफी साल पहले हुआ था। राजकुमार का तबादला इटावा से ललितपुर जिले जबकि सच यही हैं कि इस नाम कोई शख्स विभाग में नहीं है। वहीं कुछ लोगों ऐसे लोगों का ट्रांसफर किया गया है जिन्हें एक-दो साल के अंदर ही रिटायर होने हैं।
ब्रजेश पाठक की नाराजगी असली वजह क्या है
योगी सरकार में डिप्टी सीएम ब्रजेश पाठक के स्वास्थ्य मंत्रालय में भी ट्रांसफर का खेल भी अब जोर पकडऩे लगा है। डॉक्टर्स ने आरोप लगाए थे कि तबादला नीति को दरकिनार करके ट्रांसफर किए गए।
वहीं खुद स्वास्थ्य विभाग में हुए ट्रांसफर पर मंत्री ब्रजेश पाठक ने सवाल उठाए थे। इतना ही नही ब्रजेश पाठक ट्रांसफर पर अपर मुख्य सचिव अमित मोहन प्रसाद से जवाब भी मांगा था लेकिन अभी तक उसका जवाब नहीं आया है।
इसके बाद सीएम योगी ने पूरे मामले में जांच बैठा दी है। ब्रजेश पाठक इस वक्त काफी सक्रिय है और लगातार अस्पतालों का दौरा कर रहे हैं। इस वजह से उनके स्वास्थ्य विभाग में हडक़म्प मचा हुआ है और ट्रांसफर और पोस्टिंग के खेल पर भी तमाम तरह का सवाल उठने लगा है।
क्या मंत्री दिनेश खटीक ने इस्तीफा दे दिया है
योगी सरकार के तीसरे मंत्री दिनेश खटीक भी काफी सुर्खियों में है। उनकी नाराजगी ये है कि जलशक्ति मंत्रालय का राज्यमंत्री होने के बावजूद अधिकारी उनकी नहीं सुनते है। दिनेश खटीक ने कई तबादलों की लिस्ट दी थी लेकिन अधिकारियों ने उनसे कैबिनेट मंत्री से बात करने के लिए कह दिया था। चर्चा है कि दिनेश खटीक ने सीएम को अपना इस्तीफा सौंप दिया है और सामने नहीं आ रहे हैं। इसके साथ ही कहीं अज्ञात स्थान पर जा चुके हैं।