Wednesday - 30 October 2024 - 8:34 PM

कोरोना टीके की किल्लत के लिए सीरम ने किसको जिम्मेदार ठहराया

जुबिली न्यूज डेस्क

कोरोना महामारी से जूझ रहा देश कई अन्य समस्याओं से जूझ रहा है जिसमें कोरोना टीका भी शामिल है। कोरोना टीका की कमी को लेकर केंद्र सरकार विपक्ष के निशाने पर है।

कोरोना पूरे देश में तांडव मचाए हुए है। जानकारों का कहना है कि देश में तेजी से कोरोना का टीकाकरण हुआ होता तो आज जिस तरह लोग मर रहे हैं, ऐसा न होता।

वर्तमान में देश में 18+ से लेकर अलग-अलग प्राथमिकता समूह को कोरोना टीका दिया जा रहा है, लेकिन देश के कई हिस्सों में कोरोना वैक्सीन की किल्लत भी हो रही है।

कहीं 18+ वालों को कोरोना वैक्सीन नहीं मिल रही तो कहीं 45+ को इंतजार करना पड़ रहा है। देश में जारी वैक्सीन की किल्लतों के बीच शुक्रवार को सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया के एग्जीक्यूटिव डायरेक्टर सुरेश जाधव ने कहा कि केंद्र सरकार ने कोरोना वैक्सीन के स्टॉक के बारे में जाने बगैर और विश्व स्वास्थ्य संगठन की गाइडलाइन्स पर विचार किए बिना कई आयु वर्गों के लिए टीकाकरण की इजाजत दे दी।

‘हील हेल्थ’ की ओर से आयोजित स्वास्थ्य से संबंधित एक ई-समिट में सीरम के सुरेश जाधव ने सरकार पर आरोप लगाते हुए कहा कि केंद्र सरकार ने बिना ये आकलन किए कि भारत में कितनी वैक्सीन उपलब्ध है और इसे लेकर विश्व स्वास्थ्य संगठन की क्या गाइडलाइंस हैं, कई आयुवर्ग के लोगों को वैक्सीनेशन की मंजूरी दे दी।

जाधव ने कहा कि देश को डबल्यूएचओ के दिशा-निर्देशों का पालन करना चाहिए और इसी के अनुसार प्राथमिकता के आधार पर टीकाकरण किया जाना चाहिए।

उन्होंने आगे कहा कि शुरू में 30 करोड़ लोगों को वैक्सीन दी जानी थी, जिसके लिए 60 करोड़ खुराक की जरूरत थी, मगर हमारे इस लक्ष्य तक पहुंचने से पहले ही यह जाने बगैर कि हमारे पास कितनी वैक्सीन उपलब्ध है, सरकार ने पहले 45 साल से ऊपर के और फिर 18 साल से अधिक उम्र के सभी लोगों के लिए टीकाकरण के दरवाजे खोल दिए।

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सुरेश जाधव ने कहा, ‘यहां हमने सबसे बड़ा सबक सीखा। हमें प्रोडक्ट की उपलब्धता को ध्यान में रखना चाहिए और फिर उसका विवेकपूर्ण उपयोग करना चाहिए।’

उन्होंने इस बात पर जोर देते हुए कहा कि टीकाकरण जरूरी है, मगर टीका लगने के बाद भी लोग संक्रमण की चपेट में हैं, इसलिए लोगों को सावधान रहना चाहिए और कोरोना से बचाव नियमों का पालन करना चाहिए।

हालांकि कोविशील्ड वैक्सीन ने भारतीय वेरिएंट के डबल म्यूटेंट को बेअसर कर दिया गया है, फिर भी वेरिएंट टीकाकरण में समस्या पैदा कर सकते हैं।

मालूम हो कि भारत में अब तक कोविड-19 टीके की 19.32 करोड़ से अधिक खुराक लगाई जा चुकी हैं। शुक्रवार को स्वास्थ्य मंत्रालय ने बताया कि टीकाकरण अभियान के 126वें दिन टीके की 13,83,358 खुराक दी गईं।

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मंत्रालय ने बताया कि शुक्रवार को 18-44 साल आयवुर्ग के 6,63,353 लोगों को कोविड-19 टीके की पहली खुराक लगायी गयी और इस तरह इस टीकाकरण के तीसरे चरण की शुरुआत से अब तक 36 राज्यों एवं केंद्रशासित प्रदेशों में इस उम्र वर्ग में 92,73,550 लाभार्थियों को टीके लगाये जा चुके हैं।

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