जुबिली स्पेशल डेस्क
लखनऊ। उत्तर प्रदेश में विधान सभा चुनाव बेहद करीब है। ऐसे में पहले दौर के मतदान के लिए प्रत्याशियों की सूची भी सामने आ रही है। अखिलेश यादव की पार्टी ने उत्तर प्रदेश की कैराना सीट से गैंगस्टर नाहिद हसन को प्रत्याशी बनाया है लेकिन सपा के इस कदम से उनकी पार्टी नई मुश्किल में नजर आ रही है।
दरअसल भाजपा नेता व वकील अश्विनी उपाध्याय ने समाजवादी पार्टी के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है और सुप्रीम कोर्ट में समाजवादी पार्टी की मान्यता खत्म करने की मांग करते हुए अर्जी दाखिल की गई है।
भाजपा नेता व वकील अश्विनी उपाध्याय ने चुनाव आयोग के निर्देशों का उल्लंघन का आरोप लगाते हुए सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की है। इसमें उन्होंने मांग की कि चुनाव आयोग को यादव पर मुकदमा चलाने व सपा की मान्यता रद्द करने का निर्देश दिया जाए।
दूसरी ओर सपा ने नाहिद हसन की गिरफ्तारी के बाद उनका टिकट काटने में देर नहीं की है और नाहिद हसन की बहन को टिकट दिया है। हालांकि इसके बावजूद बीजेपी ने सपा के खिलाफ हमलावर रूख अपनाये रखा है।
A PIL is filed in SC seeking direction to ECI to take steps to ensure that every political party publishes the details regarding criminal cases of each candidate along with reason for such selection on the Home Page of its official website in the spirit of the apex court judgment
— ANI (@ANI) January 17, 2022
सीएम योगी आदित्यनाथ ने इस पर हमला बोलते हुए कहा था कि सपा की पहली ही लिस्ट से उसके इरादे साफ हैं कि वह पश्चिम यूपी को गुंडाराज में झोंकने की तैयारी में है।
अश्विनी उपाध्याय ने क्या कहा है
अश्विनी उपाध्याय ने एक टीवी चैनल से बातचीत में बताया है कि यूपी के कैराना से नाहिद हसन को उतारकर सपा ने सुप्रीम कोर्ट के निर्देशों का उल्लंघन किया है। उपाध्याय ने कहा, कि समाजवादी पार्टी ने कैराना से एक गैंगस्टर को चुनाव मैदान में उतार दिया। उसका क्रिमिनल रिकॉर्ड अपने ट्विटर अकाउंट और वेबसाइट पर सपा ने जारी नहीं किया।
इसके अलावा इलेक्ट्रॉनिक, प्रिंट मीडिया और सोशल मीडिया में भी कोई जानकारी नहीं दी गई। चुनाव में उम्मीदवार तय करने के मामले में सपा ने सुप्रीम कोर्ट के आदेश का उल्लंघन किया है। इसलिए उसकी मान्यता खत्म की जाए। उपाध्याय ने एक टीवी चैनल से बातचीत में कहा कि यूपी के कैराना से नाहिद हसन को उतारकर सपा ने सुप्रीम कोर्ट के निर्देशों का उल्लंघन किया है।