जुबिली न्यूज़ ब्यूरो
नई दिल्ली. मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल से पकड़े गए चार आतंकियों से पूछताछ में कई अहम खुलासे हुए हैं. यह आतंकी बांग्लादेश के आतंकी संगठन जमात-ए-मुजाहिदीन के सदस्य हैं. इन आतंकियों ने पूछताछ में बताया कि त्रिपुरा बॉर्डर से चार-चार हज़ार रुपये की रिश्वत देकर वह आसानी से भारत में घुस जाते हैं.
पकड़े गए आतंकी हिन्दी बहुत अच्छी तरह से बोलते हैं. इसी वजह से कोई इन पर शक नहीं कर पाता है. इन्होंने कई राज्यों में रिमोट बेस स्लीपर सेल तैयार कर लिए हैं. यह आतंकी तालिबान और अलकायदा से प्रभावित हैं. इन आतंकियों ने एटीएस को बताया कि भारत में दाखिल होने के बाद उन्होंने बंगाल, असम और उत्तर प्रदेश में अपना ठिकाना बना लिया है.
इन आतंकियों ने बताया कि ढाका से लेकर भारत की सीमा तक हर जगह सीमा पार कराने वालों का जाल फैला हुआ है. एक आदमी को सीमा पार कराने का यह दलाल चार हज़ार रुपये लेते हैं. इन लोगों ने बताया कि इन्होंने सीमा पर दलालों को बताया कि वह खेती करने वाले मजदूर हैं और काम की तलाश में जा रहे हैं.
भारत के दस राज्यों में रिमोट बेस स्लीपर सेल तैयार कर लेने वाले यह आतंकी इंटरनेट की बारीकियों से परिचित हैं. यह वाइस काल के ज़रिये बांग्लादेश बात करते हैं. इन्होंने उत्तर प्रदेश और मध्य प्रदेश के अलावा तेलंगाना, झारखंड, बिहार, छत्तीसगढ़, बंगाल, असम, त्रिपुरा और दिल्ली में अपने स्लीपर सेल तैयार कर दिए हैं.
पकड़े गए आतंकी फजहर अली, मोहम्मद अकील, ज़हूरुद्दीन और फ़जहर जैनुल आदिल पूरी तरह से ट्रेंड आतंकी हैं. इन आतंकियों से बातचीत के बाद इनका नेटवर्क ध्वस्त करने के लिए एसआईटी का गठन कर दिया गया है. इनसे पूछताछ के बाद जो जानकारी मिली है उसके वेरीफिकेशन के बाद एक्शन शुरू किया जायेगा.
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