सैय्यद मोहम्मद अब्बास
लखनऊ। साल 2023 और दिन 1 मई…मैदान लखनऊ का इकाना का स्टेडियम…आईपीएल का बड़ा मुकाबला खेला जा रहा था। लखनऊ अपने घरेलू मैदान पर खेल रही थी।
इस वजह से उसका जोश सातवें आसमान पर था जबकि सामने वाली टीम बेंगुलरु थी। इस मैच में सारा फोकस विराट कोहली पर था।
हालांकि विराट इस मैच में कुछ खास तो नहीं कर सके लेकिन ये मुकाबला आज भी क्रिकेट प्रेमियों के दिलों में ताजा है। दरअसल इस मुकाबले की चर्चा खेल के लिए नहीं बल्कि दो दिग्गजों की तू-तू मैं के लिए याद किया जाता है।आरसीबी के स्टार खिलाड़ी विराट कोहली और अपने जमाने के दिग्गज बल्लेबाज कहे जाने वाले और उस वक्त के लखनऊ टीम के मेंटर गौतम गंभीर मैदान की लड़ाई शायद ही कोई अब तक भूला होगा। दोनों दिग्गजों के बीच गरमा-गरम बहस एक वक्त लड़ाई में बदलती दिखी।सोशल मीडिया पर उन दोनों की लड़ाई के कई वीडियोज इंटरनेट पर उस वक्त वायरल हो रहे थे। अब वहीं गौतम गंभीर भारतीय टीम के चीफ कोच नियुक्त किये गए है। ऐसे में बड़ा सवाल है कि विराट कोहली को अब गौतम गम्भीर अब कैसे हैंडल करेंगे।
भले ही रोहित शर्मा और विराट कोहली ने टी-20 क्रिकेट से संन्यास ले लिया हो लेकिन दोनों ही खिलाड़ी अभी वन डे और टेस्ट क्रिकेट खेलेंगे। माना जा रहा कि अगला विश्व कप भी खेले।
कोहली और रोहित दोनों ने भारत की टी-20 विश्व कप जीत में अहम भूमिका निभाने के बाद क्रिकेट के इस प्रारूप में अपने करियर को अलविदा कह दिया। गंभीर ने कहा, ‘‘उन्होंने विश्व कप जीत के साथ संन्यास लिया जो शायद किसी भी लिखी गई स्क्रिप्ट से बेहतर था। दोनों खिलाड़ी शानदार हैं।
उन्होंने भारतीय क्रिकेट के लिए बहुत कुछ किया है और मैं उन्हें बधाई और शुभकामनाएं देता हूं।’ बात अगर गौतम गम्भीर की जाये तो विराट की तरह अग्रेसिव है।
\उनके कोच बनने पर सोशल मीडिया पर दोनों के रिश्तों को लेकर एक बार फिर बहस देखने को मिल रही है। हालांकि खबरें यहां तक आई है जब से गौतम गम्भीर के कोच बनने की बात सामने आई तब से बीसीसीआई भी गौतम गम्भीर और सीनियर खिलाडिय़ों से इस बारे में बात कर चुका था और फिर सोचसमझकर उनको कोच की जिम्मेदारी सौंपी गई।
हाल के दिनों गौतम गंभीर ने सीनियर खिलाडिय़ों के साथ अच्छा तालमेल बैठाने के लिए उत्सुक नजर आ रहे हैं। बताया जा रहा है कि सारे मतभेद को सुलझा लिया गया है।
अब ये देखना होगा कि गौतम गंभीर सीनियर खिलाडिय़ों के साथ कैसे पेश आते हैं क्योंकि अपने दौर में उन्होंनेधोनी और सीनियर खिलाडिय़ों के बीच मतभेद को खुलकर बयां कर चुके हैं। अब उसी जगह पर गौतम गम्भीर खड़े हैं, जहां उनको टीम इंडिया के हित के बारे में सोचना होगा और ये भी देखना होगा कौन खिलाड़ी टीम पर बोझ है और किसे मौका देना है।
कुल मिलाकर आने वाले दिनों में गौतम गंभीर कैसे भारतीय टीम को आगे ले जाते हैं ये देखना काफी दिलचस्प होगा। जिस टीम को द्रविड़ ने बुलन्दियों पर पहुंचाया उसी टीम को गौतम गम्भीर को आगे ले जाने की बड़ी जिम्मेदारी मिली है।