जुबिली स्पेशल डेस्क
बीजेपी में वरुण गांधी लगातार उपेक्षा का शिकार हो रहे हैं। इतना ही नहीं वरुण गांधी अपनी पार्टी से काफी नाराज चल रहे हैं और कई मौकों पर अपनी पार्टी की आलोचना कर चुके हैं।
अब एक बार फिर वरुण गांधी ने अपनी सरकार को घेरा है। दरअसल अमेठी में संजय गंधी अस्पताल का लाइसेंस रद्द किए जाने पर उन्होंने नाराजगी जाहिर की है।
इतना ही नहीं केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी के संसदीय क्षेत्र में संजय गांधी अस्पताल का लाइसेंस निलंबत किए जाने पर बीजेपी सांसद वरुण गांधी ने अपनी ही सरकार पर हमला बोला है और कहा है कि बिना किसी गहन जांच के अस्पताल का लाइसेंस तुरंत सस्पेंड कर दिया गया।
यह उन सभी लोगों के साथ अन्याय है जो सिर्फ प्राथमिक स्वास्थ्य सेवाओं के लिए ही नहीं बल्कि अपनी रोजी-रोटी के लिए भी इस संस्थान पर निर्भर हैं। वरुण गांधी यहीं नहीं रूके उन्होंन इस मामले में कड़ा रूख अपनाते हुए यूपी सरकार को लेटर लिखकर मांग की है कि सरकार इस मामले पर फिर से विचार करे।
पीलीभीत सांसद वरुण गांधी ने यह बात सोशल मीडिया साइट एक्स पर कही है और अपने पोस्ट में यूपी के डिप्टी सीएम बृजेश पाठक को भी टैग किया है।
सवाल संजय गांधी अस्पताल के 450 कर्मचारियों और उनके परिवार का ही नहीं, रोज सैकड़ों की संख्या में इलाज कराने वाले सूबे की आम जनता का भी है।
उनकी पीड़ा के साथ न्याय ‘मानवता की दृष्टि’ ही कर सकती है, ‘व्यवस्था का अहंकार’ नहीं।
कहीं ‘नाम’ के प्रति नाराजगी लाखों का ‘काम’ न बिगाड़ दे। pic.twitter.com/KsfxNuaPuk
— Varun Gandhi (@varungandhi80) September 30, 2023
उन्होंने इस दौरान वीडियो शेयर करते हुए लिखा है कि सवाल संजय गांधी अस्पताल के 450 कर्मचारियों और उनके परिवार का ही नहीं, रोज सैकड़ों की संख्या में इलाज कराने वाले सूबे की आम जनता का भी है।
उनकी पीड़ा के साथ न्याय ‘मानवता की दृष्टि’ ही कर सकती है, ‘व्यवस्था का अहंकार’ नहीं। कहीं ‘नाम’ के प्रति नाराजगी लाखों का ‘काम’ न बिगाड़ दे।वरुण गांधी ने कहा कि अस्पताल के लाइसेंस के निलंबन पर जवाबदेही जरूरी है। बीजेपी में वरुण गांधी ने कहा कि यह भी जरूरी है कि निष्पक्षता के सिद्धांतों को बरकरार रखा जाए और मामले की जांच की जाए।