केपी सिंह “वे व्यक्तिगत रूप से अम्बेडकर जी और मोरे के बारे में नहीं जानते लेकिन कभी-कभी अफसोस होता है कि ऐसे लोग सार्वजनिक और सार्वभौमिक बनने की कोशिश नहीं करते।” दलित नेतृत्व की इस दुर्बलता को लेकर डॉ. लोहिया बहुत परेशान रहते थे। मुम्बई के एक साथी नन्दकिशोर ने …
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