जुबिली न्यूज़ ब्यूरो
लखनऊ. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी करने वाले युवाओं के हित में बड़ी पहल करते हुए “प्रतियोगी परीक्षा भत्ता” की अभिनव घोषणा की है। सीएम ने एक करोड़ युवाओं को टैबलेट/स्मार्टफोन देने का ऐलान भी किया है। इसके अलावा, 28 लाख कर्मचारियों व पेंशनधारकों को एक जुलाई 2021 से 11 फीसदी बढ़ोतरी के साथ 28 फीसदी मंहगाई भत्ते की सौगात भी मिली है। राज्य सरकार युवाओं के लिए ₹3,000 करोड़ का एक विशेष कोष तैयार करने जा रही है। इस कोष में कारपोरेट समूहों, विभिन्न वित्तीय संस्थाओं, विश्वविद्यालयों के योगदान भी होगा।
गुरुवार को विधानसभा में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कई बड़े ऐलान किए। वित्तीय वर्ष 2021-22 के लिए पेश अनुपूरक बजट को युवाओं, कोरोना योद्धाओं और फील्ड कर्मचारियों को समर्पित क़िया। कोरोना काल में फील्ड कर्मचारियों के योगदान की सराहना करते हुए सीएम ने एक ओर जहां रोजगार सेवकों, पीआरडी जवान, आशा, आंगनबाड़ी कार्यकत्रियों, मिनी आंगनबाड़ी व सहायिकाओं, रोजगार सेवकों आदि अल्प मानदेय वाले कार्मिकों के मानदेय में बढ़ोतरी की घोषणा की, वहीं प्रदेश सरकार के 16 लाख कर्मचारियों और 12 लाख पेंशनधारकों की बहुप्रतीक्षित मुराद पूरी करते हुए 11 फीसदी की बढ़ोतरी के साथ उनके मंहगाई भत्ते को बहाल करने का भी ऐलान किया। सीएम की इस घोषणा का पूरे सदन ने भरपूर गर्मजोशी से स्वागत किया। घोषणा के अनुसार एक जुलाई 2021 से कर्मचारियों और पेंशनधारकों को 17 फीसदी के स्थान पर अब 28 फीसदी मंहगाई भत्ता मिलेगा।
“नए युग का सृजन युवकों तुम्हारे हाथ में है”
एक घंटे से कुछ अधिक समय तक सदन को संबोधित करते हुए सीएम योगी ने युवाओं को प्रोत्साहित करते हुए कविता की पंक्तियां भी पढ़ीं।
“नए युग का सृजन युवकों तुम्हारे हाथ में है, समूचा जग युवा पीढ़ी तुम्हारे हाथ में है। प्रबल फौलाद सच मानो तुम्हारे गात में है, नए युग का सृजन युवकों तुम्हारे हाथ में है। सफलता तो तुम्हारी बात में है जज्बात में है,नए युग का सृजन युवकों तुम्हारे हाथ में है।”
युवाओं को डिजिटल तकनीक में सक्षम बनाने का इरादा जताते हुए उन्होंने कहा कि स्नातक, परास्नातक, इंजीनियरिंग, डिप्लोमा आदि पाठ्यक्रमों के एक करोड़ युवाओं को टैबलेट/स्मार्टफोन देने के साथ ही मुफ्त में डिजिटल एक्सेस भी मुहैया कराया जाएगा। “प्रतियोगी परीक्षा भत्ता” की घोषणा करते हुए योगी ने कहा कि सरकार, प्रतियोगी परीक्षा के लिए जाने वाले हर युवा को तीन बार भत्ता देगी। यह फैसला विधायकों की भावनाओं, युवाओं की जरूरतों और अभिभावकों को बड़ी राहत देने वाला होगा। अधिवक्ताओं की सामाजिक सुरक्षा सुनिश्चित करते हुए सीएम योगी ने वकीलों को सामाजिक सुरक्षा के तहत मिलने वाले ₹1.5 लाख की राशि को बढ़ाकर ₹5 लाख करने की जानकारी भी दी, तो सदन को बताया कि सरकार निराश्रित हुई महिलाओं के लिए भी योजना लाने जा रही है। पूर्ववर्ती सरकारों के द्वारा संस्कृत की उपेक्षा की बात कहते हुए सीएम ने कहा कि राज्य सरकार की ओर से संस्कृत विद्यालयों के छात्रों को विशेष छात्रवृत्ति दी जाएगी तो इन विद्यालयों में रिक्त शिक्षकों के पदों पर जल्द ही मानदेय शिक्षकों की नियुक्ति करने जा रही है।
चार साल पांच महीने की उपलब्धियों का दिया ब्यौरा
मुख्यमंत्री योगी ने प्रदेश के विकास की चर्चा करते हुए कहा कि यूपी सरकार का बजट पिछले पांच साल में दोगुना हो गया है। 2015-16 में तीन लाख करोड़ का 24 करोड़ की आबादी वाले प्रदेश में ढाई लाख का बजट “ऊंट के मुंह में जीरा” साबित होता था। यही कारण था कि प्रदेश अर्थव्यवस्था में पिछड़ा हुआ था लेकिन अब यूपी निवेश के लिए सबसे अच्छे प्रदेशों में शामिल है।
उन्होंने बताया, 19 अगस्त को सरकार का चार वर्ष पांच माह का कार्यकाल पूरा हो रहा है। इस अवधि में प्रदेश का बजट दोगुना हुआ है। आज हम लगभग 6 लाख करोड़ रुपये का बजट बनाने में सफल हुए हैं। 5 साल पहले सकल राज्य घरेलू उत्पाद (जीएसडीपी) 10-11 लाख करोड़ थी, आज हम इसे 20-21 लाख करोड़ रुपये तक पहुंचाने में सफल हुए हैं। 2015-16 में उत्तर प्रदेश देश अर्थव्यवस्था में छठे नंबर पर था और आज दूसरे नंबर पर है।
पांच वर्ष पहले तक साढ़े 17 फीसदी रही बेरोजगारी दर आज 5 फीसदी तक आ गई है। योगी ने बताया, हमने प्रति व्यक्ति आय को दोगुना हो गया है। 4 साल में 1 लाख 52 हजार कन्याओं की शादी कराई गई। पीएम आवास योजना आने के बाद 2017 तक केवल 10 हजार आवास स्वीकृत हुए थे और 2017 के बाद से अब तक 40 लाख आवास स्वीकृत हो चुके हैं।साढ़े चार साल में 4.5 लाख सरकारी नौकरियां भी दी गईं हैं। उन्होंने बताया कि, प्रदेश में पिछले साढ़े चार साल में 2 करोड़ 94 लाख लोगों को विद्युत कनेक्शन दिया गया और 3 करोड़ 94 लाख लोगों को रसोई गैस के कनेक्शन उपलब्ध करवाए जा चुके हैं। यह सब बिना किसी की जाति व धर्म देखकर किया गया है। हम विकास में किसी से भेदभाव नहीं करते।
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अनुपूरक बजट में सांस्कृतिक राष्ट्रवाद के विचार को आगे बढ़ाते हुए वाराणसी में श्री काशी विश्वनाथ कारिडोर प्रोजेक्ट और ‘नव्य अयोध्या’ के लिए भी खजाना खोला गया है। सरकार ने कुल 7301 करोड़ 51 लाख 58 हजार रुपये का अनुपूरक बजट पेश किया, जिसे सदन ने पास कर दिया। यह मूल बजट का 1.33 प्रतिशत है।