जुबिली न्यूज़ डेस्क
हरियाणा में 21 अक्टूबर को होने वाले चुनावों के लिए शनिवार को अपना घोषणा पत्र जारी करते हुए स्वराज इंडिया ने राज्य में 20,000 करोड़ रुपये की लागत से 20 लाख नौकरियां सृजित करने का वादा किया। पहली बार चुनाव मैदान में उतरी पार्टी ने शिक्षा, स्वास्थ्य, उद्योग समेत कई क्षेत्रों में रोजगार के अवसर पैदा करने का वादा किया है।
अपने चुनाव घोषणा पत्र को ‘ईमान पत्र’ बताते हुए पार्टी ने शहरी इलाकों में खाली प्लॉटों पर कर लगाकर, अतिरिक्त आवास कर और खनन उद्योग में ‘‘भ्रष्टाचार’’ की जांच करके धन जुटाने का खाका पेश किया।
पार्टी प्रमुख योगेंद्र यादव ने यहां पत्रकारों से कहा कि राज्य में बेरोजगारी सबसे बड़ी समस्या है लेकिन किसी भी राजनीतिक दल ने इस मुद्दे से निपटने के लिए कोई ब्लू्प्रिंट या रोडमैप पेश नहीं किया।
उन्होंने कहा कि सेंटर फॉर मॉनिटरिंग इंडियन इकोनॉमी (सीएमआईई) की एक रिपोर्ट के अनुसार, हरियाणा में कम से कम 20 लाख लोग बेरोजगार हैं। यादव ने यहां कहा, ‘‘हम बेरोजगारी की समस्या से निपटने के लिए अपने घोषणा पत्र में सात मिशनों को ला रहे हैं।’’ चुनाव विश्लेषक से नेता बने यादव ने कहा कि राज्य में 20 लाख लोगों के लिए नौकरियां पैदा करने के वास्ते कम से कम 20,000 करोड़ रुपये की जरूरत है।
शिक्षा व्यवस्था में सुधार पर जोर देते हुए पार्टी ने गांवों में तीन से छह साल के बच्चों को पढ़ाने के लिए और नर्सरी अध्यापकों की भर्ती करने का प्रस्ताव दिया है। उन्होंने कहा, ‘‘इस कदम से 73,000 लोगों के लिए रोजगार के अवसर पैदा होंगे।’’
स्वराज इंडिया ने स्वास्थ्य सुविधाएं बढ़ाने तथा और डॉक्टरों एवं कर्मचारियों की भर्ती करने का भी प्रस्ताव पेश किया है। उसने गेहूं, धान, बाजरा समेत मुख्य फसलों का समर्थन मूल्य बढ़ाने का भी प्रस्ताव पेश किया। साथ ही यादव ने कृषि क्षेत्र के लिए अलग बजट पेश करने की भी बात कही। स्वराज इंडिया ने हरियाणा में कुल 90 विधानसभा सीटों में से 28 पर उम्मीदवार उतारे हैं।
यह भी पढ़ें : शिवसेना और भाजपा का रिश्ता क्या कहलाता है
यह भी पढ़ें : ATM से क्यों गायब हो रहे हैं 2000 रुपये के नोट