जुबिली न्यूज़ डेस्क
उत्तर पूर्वी दिल्ली में हिंसा की घटनाओं के बाद लोगों में खौफ बना हुआ है। इन दंगों में जिन परिवारों ने अपने लोगों को खो दिया है उनके जख्म कब भरेंगे यह तो वक़्त की तय करेगा लेकिन इस दौरान कुछ ऐसी तस्वीरें भी सामने आईं जिन्हें देखकर लगा कि, मानवता और अच्छाई अभी भी बाकी है।
नफरतों के इस बाजार में मोहब्बत की जो तस्वीर देखने को मिली वो इस निराशा के दौर में आशा भरने वाली है।
बता दें कि, हिंसा के दौरान जब कुछ लोग एक दूसरे के खून के प्यासे बन गए थे तभी दिल्ली में ही एक मस्जिद को जलाने आए लोगों से इसे बचाने के लिए कुछ हिन्दू खड़े हो गए।
मंगलवार दोपहर को तीन बजे करीब हिंसक भीड़ आई और मुसलमानों के घरों और मस्जिद को आग लगाने की कोशिश करने लगी। इसी बीच भाईचारे की मिसाल पेश करते हुए हिन्दुओं ने उन्हें अपने घर में पनाह दी और मस्जिद को भी जलाने नहीं दिया।
वहीं जब इंदिरा विहार में जब दंगाई कुछ हिन्दू घरों और मंदिरों को क्षति पहुँचाने आये तो मुस्लिम समुदाय के लोग सामने आ कर खड़े हो गए और उन्होंने न सिर्फ मंदिर को बचाया बल्कि पड़ोस में रहने वाले लोगों को तब तक सुरक्षा दी जब तक की हिंसा शांत नहीं हो गई।
कुल मिलाकर इन घटनाओं को देखकर एक बात तो साफ है कि, आम हिन्दू या मुसलमान जो एक दूसरे के साथ रह रहे हैं उनके दिलों में कोई शिकवा या नफरत नहीं है। बल्कि जो लोग इन दंगों में शामिल हैं वह बाहरी लोग ही हैं। अब ये लोग किस दल और किस विचारधारा के हैं ये तो हुक्मरान ही जानते होंगे।
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