जुबिली स्पेशल डेस्क
पटना। बिहार में सत्ता परिवर्तन हो गया है और एक बार फिर एनडीए की सरकार बन गई है। विपक्षी एकता को नीतीश कुमार ने एक बड़ा झटका दे दिया है तो दूसरी तरफ के विपक्ष के कई बड़े नेताओं पर ईडी का शिकंजा भी कसता हुआ नजर आ रहा है।
कल लालू यादव से ईडी ने करीब नौ घंटे तक पूछताछ की तो दूसरी तरफ आज तेजस्वी यादव से भी पूछताछ हो रही है तो वहीं दूसरी तरफ हेमंत सोरेन की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रही है। ईडी लगातार उनकी तलाश में है और वो अब तक सामने नहीं आये हैं।
कल दिल्ली में नीतीश कुमार के घर पर ईडी की टीम पहुंच गई और जब उनको हेमंत सोरेन नहीं मिले तो ईडी ने कार्रवाई करते हुए 36 लाख कैश, एक बीएमडब्लू कार और कुछ अहम दस्तावेज जब्त कर लिए हैं। अब जानकारी है कि सोरेन वापस झारखंड पहुंच गए हैं।
उधर सोरेने के लापता होने की खबर इस वक्त सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रही है। इस बीच जेएमएम ने इस पूरे मामले पर बयान जारी किया और बताया है कि हेमंत सोरेन भगोड़े नहीं हैं।
वह जल्द हमारे बीच होंगे। वो कहां हैं ये हम नहीं बता सकते. मगर चुने हुए मुख्यमंत्री को प्रताडि़त किया जा रहा है. चुनी हुई सरकार को ऑपरेशन लोटस से बचाना है. अगले 48 घंटे बहुत महत्वपूर्ण है।
जेएमएम प्रवक्ता मनोज पांडेय ने इसकी जानकारी दी है. उन्होंने कहा कि हेमंत सोरेन भगोड़े नहीं हैं। मुख्यमंत्री जी जल्द हमारे बीच में होंगे. वो कहां हैं ये हम नहीं बता सकते। ये हमारी रणनीति है।
मगर चुने हुए मुख्यमंत्री को प्रताड़ित किया जा रहा है। जेएमएम प्रवक्ता ने कहा कि अगले 48 घंटे बहुत महत्वपूर्ण है. चुनी हुई सरकार को ऑपरेशन लोटस से बचाना है। झारखंड को बचाना है। इतनी बेचैनी क्यों है? ये आदिवासी का अपमान है। पुरे झारखंड का अपमान है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री जी जल्द हमारे बीच में होंगे।
बता दें कि हेमंत सोरेपर गिरफ्तारी की तलवार लटक रही है। ऐसे में माना जा रहा है कि हेमंत सोरेन कोई बड़ा कदम उठा सकते हैं और सीएम की कुर्सी छोड़ किसी और सीएम बनाने का फैसला ले सकते हैं।
फिलहाल देखना होगा इस बैठक में क्या होता है लेकिन ईडी उनकी गिरफ्तारी को लेकर जल्दीबाजी में नहीं है लेकिन पूछताछ के बहाने अगर गिरफ्तारी हो जाये तो इसमें हैरानी भी नहीं होनी चाहिए।