जुबिली स्पेशल डेस्क
लखनऊ। स्वतंत्रता दिवस गाजीपुर जिले के मुहम्मदाबाद के शेरपुर कला गांव के लोगों के लिए खास बन गया। खास इसलिए क्योंकि गांव के ही एक होनहार बेटे का आतंकवादियों से लोहा लेने के लिए पुलिस वीरता पुरस्कार के लिए चयन हुआ है। गांव वाले अपने बेटे शशिकांत राय को सम्मान मिलने से काफी खुश हैं।
शशिकांत राय सीआरपीएफ में उप. कमांडेंट हैं। इन दिनों वह जम्मू-कश्मीर के अति संवेदनशील व आतंकवाद क्षेत्र पुलवामा में तैनात हैं। राय को उनके योगदान के लिए गैलेंट्री अवार्ड यानी वीरता पुरस्कार मिला हैं।
गृह मंत्रालय ने स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर देश के जाबांज हीरो को गैलेंट्री अवॉर्ड्स यानी वीरता पुरस्कार से सम्मानित किया है। इस अवॉर्ड को पाने वालों में जम्मू-कश्मीर पुलिस को शीर्ष स्थान मिला है तो दूसरे स्थान पर सीआरपीएफ का दबदबा देखने को मिला है।
शशिकांत राय पिछले तीन साल से जम्मू-कश्मीर के पुलवामा में तैनात हैं। इसके पहले वह मुंबई में तैनात थे। गैलेंट्री अवार्ड मिलने पर शशिकांत राय ने कहा कि अवार्ड आप के काम को रिकोगनाइज करती है। इससे हर पल यह एहसास होता है कि आपको और बेहतर करना है। मुझे अच्छा लग रहा है और साथ ही जिम्मेदारी बढऩे का एहसास भी हो रहा है।
शशिकांत राय नक्सल विरोधी अभियान में भी प्रभावी भूमिका निभा चुके हैं। इसके अलावा वह देश के विभिन्न ”अति विशिष्ट” लोगों की सुरक्षा व्यवस्थाओं का जिम्मा भी देश के विभिन्न हिस्सों में सफलतापूर्वक निभा चुके हैं।
शशिकांत राय यू.पी.एस.सी (संघ लोक सेवा आयोग) के 2008 बैच के अधिकारी है और सी.आर.पी.एफ में वर्ष 2010 में सम्मलित हुये थे। राय की प्रारंभिक शिक्षा शेरपुर कला गांव के ही विद्यालय से हुई।
पुलवामा में पोस्टिंग के बाद से राय को कई आतंक विरोधी अभियानों में सफलता मिली। राय के नेतृत्व में ही 31 जनवरी 2019 को पुलवामा जनपद के ही एक गांव द्रबगाम में सुरक्षाबलों व आंतकियों के बीच भीषण मुठभेड़ हुई थी।
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इस मुठभेड़ में उन्होंने अदम्य साहस व वीरता का परिचय देते हुये आगे बढकर सुरक्षाबलों का नेतृत्व किया व जैश-ए मोहम्मद के खुंखार आतंकी, जनपद कमांडर शाहिद अहमद बाबा और उसके एक साथी अनायत अहमद जरगर को मार गिराया। इसी बहादुरी के लिए उन्हें ‘पुलिस वीरता पदक’ के लिए चयनित किया गया है।
स्वतंत्रता दिवस के पूर्व संध्या पर जब शशिकांत के गांव वालों को पता चला कि उनका चयन ‘पुलिस वीरता पदक’ के लिए हुआ है तो सभी खुशी से झूम उठे।
शशिकांत के पिता बृजनाथ राय ने कहा कि हम सब बहुत खुश हैं। गांव वाले भी बहुत खुश हैं। बेटे को सम्मान मिलना किसे नहीं अच्छा लगता है। मुझे इसलिए ज्यादा खुशी हो रही है क्योंकि मेरे बेेटे ने आतंकवादियों से लोहा लिया।
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