जुबिली न्यूज डेस्क
सुप्रीम कोर्ट ने बुधवार को पूर्व पीएम राजीव गांधी हत्याकांड के दोषी एजी पेरारिवलन की 31 साल से अधिक पुरानी सजा को समाप्त करते हुए उन्हें रिहा करने का निर्देश दिया।
पेरारिवलन उन 7 दोषियों में से एक हैं जिन्हें आजीवन कारावास की सजा मिली थी। उनके साथ ही इस मामले में संथन, मुरुगन, नलिनी, रॉबर्ट पायस, जयकुमार और रविचंद्रन जेल में सजा काट रहे हैं।
पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी 1991 के आम चुनाव में प्रचार के दौरान तमिलनाडु के श्रीपेरंबदूर में एक आत्मघाती बम हमले में मारे गए थे।
एजी पेरारिवलन को जून 1991 में गिरफ्तार किया गया था। इस साल 9 मार्च को सुप्रीम कोर्ट ने जमानत पर रिहा कर दिया था।
एजी पेरारिवलन की दया याचिका लंबे समय से लंबित है। बुधवार को सुप्रीम कोर्ट ने उनके अच्छे आचरण, चिकित्सा स्थिति, शैक्षिक योग्यता को देखते हुए उन्हें रिहा करने का आदेश दिया।
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जस्टिस एल नागेश्वर राव व बीआर गवई की पीठ ने कहा, ” जेल में पेरारिवलन संतोषजनक आचरण, मेडिकल रिकॉर्ड, जेल में हासिल की गई उनकी शैक्षणिक योग्यता और दिसंबर 2015 से तमिलनाडु के राज्यपाल के समक्ष अनुच्छेद 161 के तहत दायर उनकी दया याचिका के लंबित होने के कारण शक्तियों का प्रयोग करते हुए अनुच्छेद 142 के तहत हम याचिकाकर्ता को मुक्त होने का निर्देश देते हैं।”
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