सैय्यद मोहम्मद अब्बास
भारत और न्यूजीलैंड के बीच चल रहा कानपुर टेस्ट मैच रोमांचक दौर में पहुंच गया है। मैच के चार दिनों की बात की जाये तो कभी कीवियों का पलड़ा भारी रहा तो कभी भारत मजबूत स्थिति में नजर आया है।
भारत ने पहली पारी में श्रेयस अय्यर के शानदार शतक की बदौलत पहली पारी में 345 रन का स्कोर बनाने में कामयाब रही जबकि दूसरी पारी में भारत ने मैच के चौथे दिन सात विकेट पर 234 बनाकर पारी समाप्ति की घोषणा कर डाली है। ऐसे में न्यूजीलैंड को अब टेस्ट जीतने के लिए 280 रन का लक्ष्य मिला और उसके नौ विकेट अभी सुरक्षित है।
बात अगर भारतीय बल्लेबाजों की जाये तो केवल श्रेयस अय्यर ने दोनों पारियों में शानदार बल्लेबाजी की है। डेब्यू टेस्ट में पहली पारी में शतक जड़ा जबकि दूसरी पारी में जब चोटी के पांच बल्लेबाज केवल 51 रन के स्कोर पर चलते बने तब उन्होंने 65 रन की अहम पारी खेलकर भारतीय पारी को संभाल लिया है।
ऐसे में कहा जा रहा है कि अगले टेस्ट में अगर विराट कोहली लौटते हैं तो उनको बाहर बैठना पड़ सकता है लेकिन अगर दूसरा पहलू देखा जाये तो रहाणे और पुजारे के फ्लॉप शो ने भी भारतीय टीम की मुश्किलें जरूर बढ़ा दी है।
दोनों ही बल्लेबाजों ने कानपुर टेस्ट में एक बार फिर कोई करिश्मा नहीं कर सके। दोनों ही खिलाडिय़ों से इस मैच में अच्छे प्रदर्शन की उम्मीद थी लेकिन उनका बल्ला यहां भी खामोशी की चादर ओढ़ा रहा है।
क्या पुजारा-रहाणे को ड्रॉप किया जायेगा
न्यूजीलैंड के खिलाफ कानपुर टेस्ट की पहली पारी में रहाणे ने 63 बॉल पर 35 रन बनाए, जबकि पुजारा ने 88 बॉल पर 26 रन ही बनाए। दूसरी पारी में कहानी बदली नहीं है। रहाणे ने चार और पुजारा ने 22 रन का योगदान दे सके। ऐेसे में देखा जाये तो दोनों का करियर अब खत्म होता हुआ नजर आ रहा है।
वरिष्ठ खेल पत्रकार असीम मुखर्जी ने जुबिली पोस्ट से खास बातचीत में कहा कि कानपुर टेस्ट भारत की पकड़ में है और जीतने की पूरी उम्मीद है।
उन्होंने कहा कि मैच के पांचवें दिन 280 रन बनाना न्यूजीलैंड के बेहद मुश्किल होगा क्योंकि पिच पूरी तरह से स्पिनरों के लिए मददगार है।
असीम मुखर्जी ने पुजारा-रहाणे की फॉर्म को लेकर कहा कि दूसरे टेस्ट में विराट की वापसी होगी तो इन दोनों में किसी एक खिलाड़ी को बाहर बैठना पड़ सकता है। उन्होंने कहा कि अब देखना होगा कि कोच राहुल द्रविड़ अनुभव को महत्व देते हैं या फिर युवा खिलाड़ी पर भरोसा दिखाते हैं। जहां तक कहा जा रहा है कि कैप्टन जाये तो दूसरा कैप्टन आये तो ऐसी स्थिति में रहाणे का विकेट गिर सकता है।
1974-75 सीरीज में जब कप्तान वेंकटराघवन को कर दिया गया था बाहर
वरिष्ठ खेल पत्रकार असीम मुखर्जी ने 1974-75 सीरीज का जिक्र करते हुए बताया कि क्लाइव लॉयड की कप्तानी में वेस्टइंडीज की टीम भारत दौरे पर आई थी।
और दूसरे टेस्ट में जो कि दिल्ली में खेला गया था और उसमें श्रीनिवास वेंकटराघवन टीम के कप्तान थे लेकिन कोलकाता में खेले गए तीसरे टेस्ट में मंसूर अली खान पटौदी की बतौर कप्तान वापसी हुई और श्रीनिवास वेंकटराघवन टीम से बाहर कर दिया गया है। ऐसे में देखना होगा क्या रहाणे को टीम से बाहर किया जायेगा या नहीं।
विराट के लौटने पर किसपर गिरेगी गाज
उन्होंने कहा कि दूसरे टेस्ट में मंयक या गिल को भी बाहर बैठाया जा सकता है। जहां तक पुजारा रहाणे के करियर की बात की जाये तो दोनों का करियर पहाड़ से नीचे की जाता नजर आ रहा है। ऐसे में अब भारतीय चयनकार्ताओं को तय करना है कि उन्हें आगे खेलाना है या नहीं।