पीएम नरेंद्र मोदी ने अहमदाबाद मेट्रो के पहले चरण के उद्घाटन के दौरान 2019 में वापसी के भी संकेत दिए। उन्होंने कहा कि हमारी आदत है जिस योजना का हम शिलान्यास करते हैं उसका उद्घाटन भी हम ही करते हैं। लेकिन दूसरी ओर कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने पीएम मोदी पर अमेठी की ऑर्डनेंस फ़ैक्ट्री के दोबार उद्घाटन करने और झूठ बोलने का आरोप लगाया है।
पीएम नरेंद्र मोदी ने कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी के गढ़ अमेठी में ऑर्डिनेंस फैक्ट्री का उद्घाटन किया। प्रधानमंत्री ने जिस तरीक़े से इस परियोजना को अपनी सरकार की उपलब्धि बताया और कांग्रेस पार्टी को सैन्य उपकरणों के प्रति उदासीन बताते हुए घेरने की कोशिश की। उससे कांग्रेस पार्टी में खलबली मच गई। ख़ुद राहुल गांधी ने बेहद कड़े शब्दों में ट्वीट करके प्रधानमंत्री को याद दिलाया कि अमेठी में ये फ़ैक्ट्री पहले से ही और बंदूकें बना भी रही है, जिसका उद्घाटन उन्होंने ख़ुद किया था।
राहुल ने ट्वीट कर कहा,
“प्रधानमंत्री जी, अमेठी की ऑर्डिनेंस फैक्ट्री का शिलान्यास 2010 में मैंने खुद किया था। पिछले कई सालों से वहां छोटे हथियारों का उत्पादन चल रहा है। कल आप अमेठी गए और अपनी आदत से मजबूर होकर आपने फिर झूठ बोला। क्या आपको बिल्कुल भी शर्म नहीं आती?”
राहुल के ट्वीट का जवाब देने के लिए केंद्रीय मंत्री स्मृति ईरानी आगे आईं। स्मृति ने साल 2010 की 2 ख़बरों को ट्वीट करते हुए कहा कि अगर कोरवा में 2010 में आपने शिलान्यास किया तो 2007 में ऑर्डिनेंस फैक्ट्री के संबंध में जो हुआ उस पर आप का क्या कहना है? उनहोंने कहा राहुल बताएं कि सही क्या है 2007 या 2010?
अमेठी की ऑर्डनेंस फ़ैक्ट्री में करीब साढ़े सात लाख AK-203 राइफल बनाई जाएंगी। रक्षा मंत्रालय के सूत्रों की माने तो इस यूनिट का लक्ष्य शुरुआत में 45 हज़ार कार्बाइन गन्स हर साल बनाने का लक्ष्य रखा गया था। लेकिन ऐसा इसलिए नहीं हो पाया क्योंकि सेना ये तय ही नहीं कर पाई कि उसे किस गुणवत्ता की कार्बाइन चाहिए।
इससे पहले यूपी के पूर्व सीएम और समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव ने सूबे की योगी सरकार पर सपा सरकार की कई योजनाओं को अपना बताने का आरोप लगाय।
लखनऊ मेट्रो का उद्घाटन
लखनऊ मेट्रो को लेकर यूपी में सियासी वॉर चल रहा है… लखनऊ में मेट्रो लाने का ख्वाब यूपी की तत्कालीन मुख्यमंत्री मायावती ने देखा था। 2011 में उन्होंने पहल करते हुए दो बार लखनऊ मेट्रो की डिटेल्ड प्रोजेक्ट रिपोर्ट केंद्र की तत्कालीन यूपीए सरकार को भेजी थी। हालांकि इस प्रोजेक्ट को उस समय मंजूरी नहीं मिल सकी थी। इसके बाद समाजवादी पार्टी की सरकार बनने के बाद अखिलेश यादव ने लखनऊ मेट्रो को अपने ड्रीम प्रोजेक्ट में शामिल किया। .अपने इस सपने को पूरा करने में उन्होंने कोई कोर कसर नहीं छोड़ी।
लखनऊ मेट्रो परियोजना की शुरुआत 2013 में अखिलेश यादव सरकार ने की थी और 2017 में ये पूरी हो गई। विधानसभा चुनाव से पहले लखनऊ मेट्रो प्रोजेक्ट पूरी तरह से तैयार भी नहीं हुआ था। लेकिन 1 दिसम्बर 2016 को ट्रेन डिपो का लोकार्पण और ट्रायल रन का शुभारम्भ कर दिया। इसके बाद यूपी में बीजेपी सरकार बनने के बाद सीएम योगी ने 5 सितंबर 2017 को मेट्रो का शुभारंभ किया और अब पीएम नरेंद्र मोदी आठ मार्च को कानपुर से विडियो कॉन्फ्रेसिंग के जरिए चौधरी चरण सिंह एयरपोर्ट से मुंशी पुलिया तक मेट्रो रूट का उदघाटन करेंगे।
समाजवादी पेंशन योजना पर लगाई रोक
अखिलेश सरकार में चर्चित समाजवादी पेंशन योजना का नाम बदल कर सीएम योगी ने मुख्यमंत्री पेंशन योजना रख दिया। योगी सरकार ने विधवाओं, दिव्यांगों और बुजुर्गों को दी जाने वाली पेंशन राशि को दोगुना 1000 रुपए कर दिया।
समाजवादी की जगह एडवांस एंबुलेंस सेवा
अखिलेश सरकार की ड्रीम प्रोजेक्ट रही समाजवादी एंबुलेंस 102 और 108 योजना को रोक कर सीएम योगी आदित्यनाथ ने एडवांस लाइफ सपोर्ट एम्बुलेंस सेवा की शुरुआत की। योगी सरकार ने 75 जिलों के लिए 150 हाइटेक एंबुलेंस देने का एलान किया। इस योजना के तहत हर जिले को दो-दो एंबुलेंस चलाई गई। पूरी तरह से निशुल्क सेवा पर आधारित इस एंबुलेंस की सर्विस केवल क्रिटिकल पेशेंट्स को मिलती है।
एलिवेटेड रोड का उद्घाटन
यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ ने यूपी गेट से राजनगर एक्सटेंशन तक निर्मित एलिवेटेड रोड को अपनी बड़ी उपलब्धि बताते हुए उसका उद्घाटन किया…
लेकिन यूपी के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने ट्वीट कर लिखा
‘राम राम जपना पराया काम अपना’।
बता दें कि 2014 में सपा सरकार के दौरान इसका निर्माण कार्य शुरू किया गया था….227 सिंगल पिलर्स पर छह लेन की 10.30 किलोमीटर लंबी इस रोड को बनने में तीन साल से ज्यादा का वक्त लगा….
दूसरी सरकार की योजनओं का नाम बदलकर अपना बना लेने की प्रथा बहुत पहले से चली आ रही है। लोकसभा चुनाव से पहले अभी और योजनाओ को उद्घाटन देखने को मिल सकता है। लेकिन जनता को फैसला करना है कौन सही है कौन गलत।