Wednesday - 20 November 2024 - 7:31 AM

PM Cares Fund : सरकारी कंपनियों से आया दान का बड़ा हिस्सा

जुबिली न्यूज डेस्क

प्रधानमंत्री केयर्स फंड के गठन से लेकर अब तक इस पर सवाल उठता रहा है। विपक्ष और एक्टिविस्ट्स की ओर से सरकार पर लगाए जा रहे आरोपों के बीच मंगलवार को इस पर सुप्रीम कोर्ट का एक अहम फैसला भी आया।

अदालत ने अपने फैसले में कहा है कि प्राइम मिनिस्टर्स सिटीजन असिस्टेंटस एंड रिलीफ इन इमर्जेंसी सिचुएशंस (पीएम केयर्स) फंड को नेशनल डिजास्टर रिलीफ फंड (एनडीआरएफ) में ट्रांसफर करने की कोई जरूरत नहीं है। सुप्रीम कोर्ट के फैसले के बाद भी बहुत से लोग संतुष्टï नहीं है। लोग यह जानना चाहते हैं कि इस फंड में कितना पैसा आया है।

दरअसल सरकार इस मामले में पारदर्शिता नहीं बरत रही है इसलिए यह सवाल उठ रहा है। जब कोरोना वायरस महामारी से लड़ाई के बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने लोगों से एक नए ‘पीएम केयर्स फंडÓ में दान देने का आह्वान किया, तो बड़ी संख्या में लोगों ने आगे आकर मदद की।

फिलहाल अब सामने आया है कि इस फंड में जो दान आया, उसमें बड़ा हिस्सा सरकारी कंपनियों की तरफ से दान किया गया था।

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द इंडियन एक्सप्रेस को आरटीआई के जरिए मिली जानकारी में सामने आया है कि 28 मार्च को पीएम केयर्स फंड की लॉन्चिंग के बाद 38 पीएसयू ने कॉरपोरेट सोशल रिस्पॉन्सिबिलटी के तहत इस फंड में 2105 करोड़ रुपए दान किए थे।

पीएम केयर्स फंड को विशेष तौर पर कोरोना महामारी के खिलाफ तैयारियों के लिए ही बनाया गया था। 31 मार्च 2020 तक इसमें 3076.62 करोड़ दान दिया गया, जिसमें 3075.82 करोड़ स्वेच्छा से दिया गया योगदान बताया गया। यह जानकारी पीएम केयर फंड की आधिकारिक वेबसाइट पर दी गई है। उसके बाद से कोई जानकारी नहीं दी गई है।

द इंडियन एक्सप्रेस ने 55 पीएसयू कंपनियों से आरटीआई के जरिेए पीएम केयर्स फंड में दान का ब्योरा मांगा था जिसमें 38 कंपनियों से प्रतिक्रिया मिली। इसमें सामने आया कि पिछले पांच महीनों में इस कंपनियों ने 2019-20 और 2020-21 के अपने निर्धारित बजट से 2105.38 करोड़ रुपए का योगदान फंड में दिया।

न 38 पीएसयू में सबसे ज्यादा दान ऑयल एंड नेचुरल गैस कॉरपोरेशन  की तरफ से 300 करोड़ रुपए का दिया गया। इसके बाद एनटीपीसी की तरफ से 250 करोड़ रुपए का चंदा दिया गया।

बता दें कि ओएनजीसी ने इस साल का सीएसआर बजट कम किया है, हालांकि 2020-21 में पीएसयू का बजट आवंटन अभी निर्धारित होना है। इस बीच पावर फाइनेंस कॉरपोरेशन ने फंड में अपने 2020-21 के सीएसआर फंड से ज्यादा राशि दान क दी। आरटीआई में PFC ने बताया कि उसे इस साल सीएसआर के लिए 150.28 करोड़ रुपए आवंटित हुए थे, पर उसका योगदान 200 करोड़ का था।

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मालूम हो कि बहुत सारे लोगों ने आरटीआई दाखिल कर प्रधानमंत्री कार्यालय से चंदे से संबंधित जानकारी मांगी थी, लेकिन  पीएमओ की तरफ से इसे देने से इनकार कर दिया गया था और कहा गया कि जो भी जानकारी चाहिए pmcares.gov.in पर जाकर ले सकते हैं।

पीएम केयर्स फंड की वेबसाइट पर अलग-अलग लोगों से मिले चंदे की कोई जानकारी नहीं दी गई थी। वेबसाइट के मुताबिक पीएम केयर्स फंड के शुरुआती पांच दिन में ही 3000 करोड़ रुपए से ज्यादा का फंड इकट्ठा हो गया था। इसके बाद से सरकार ने कोई डाटा साझा नहीं किया है।

सरकारी आंकड़े के अनुसार, वित्तीय वर्ष 2019-20 में पीएम केयर्स फंड के तहत कुल 3076.62 करोड़ रुपए जमा हुए हैं। इसमें से 39.68 लाख रुपए विदेशी मुद्रा में मिले हैं।

मालूम हो कि 27 मार्च, 2020 को रजिस्ट्रेशन एक्ट, 1908 के तहत पीएम केयर्स फंड का ‘पब्लिक चैरिटेबल ट्रस्ट’  के तौर पर रजिस्ट्रेशन कराया गया था। इसके अध्यक्ष प्रधानमंत्री हैं। वहीं रक्षा मंत्री, गृह मंत्री, वित्त मंत्री इस फंड के ट्रस्टी हैं।

पीएम केयर्स फंड का मुख्यालय संसद भवन के साउथ ब्लॉक में स्थित पीएम ऑफिस है। पीएम केयर्स फंड की वेबसाइट पर दी गई जानकारी के अनुसार, इसमें से 3100 करोड़ रुपए विभिन्न गतिविधियों के लिए आवंटित किए जा चुके हैं।

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