जुबिली न्यूज डेस्क
लड़कियों की शिक्षा के लिए अभियान चलाने वाली व नोबेल शांति पुरस्कार विजेता मलाला यूसुफजई ने ब्रिटेन के बर्मिंघम शहर में शादी कर ली है। 24 वर्षीय मलाला ने असर मलिक के साथ निकाह किया। उन्होंने अपनी शादी को ‘अपने जीवन का एक मूल्यवान दिन बताया’।
पाकिस्तान की जानी-मानी महिला अधिकार कार्यकर्ता को तालिबान चरमपंथियों ने साल 2012 में सिर में गोली मार दी थी। इसके बाद उन्हें इलाज के लिए बर्मिंघम लाया गया था। तब से मलाला वहीं रह रही हैं।
शादी की जानकारी मलाला ने ख़ुद ट्विटर पर दी और लिखा – “असर और मैंने जीवनसाथी बनने के लिए डोर बांध ली है।”
मंगलवार को मलाला ने बताया कि कैसे उन दोनों ने “परिवार के साथ एक छोटे समारोह में” निकाह किया।
मलाला युजुफजई ने लिखा – “हम भावी जीवनयात्रा पर साथ यात्रा करने को लेकर उत्साहित हैं।”
मलाला की शादी के इस ट्वीट को उनके लाखों प्रशंसकों ने लाइक किया और हजारों ने उन्हें और उनके पति को शुभकामनाएं दी।
कौन है मलाला के पति
मलाला यूसुफजई क्रिकेट की बहुत बड़ी प्रशंसक हैं। वह कई बार अपने इंटरव्यू में इसका जिक्र कर चुकी हैं।
संयोग से, उनके पति असर मलिक का भी क्रिकेट से बहुत करीबी नाता है। वो पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड के नेशनल हाई परफॉर्मेंस सेंटर में जनरल मैनेजर (जीएम) हैं।
असर मलिक ने लाहौर के प्रतिष्ठित ऐचिंसन कॉलेज से डिग्री लेने के बाद लाहौर यूनिवर्सिटी से मैनेजमेंट की पढ़ाई की।
पीसीबी से जुडऩे से पहले असर पाकिस्तान सुपर लीग की टीम मुल्तान सुल्तान्स के साथ भी जुड़े रहे हैं।
पीसीबी ने पिछले वर्ष पाकिस्तान में क्रिकेट के विकास के लिए नेशनल हाई परफॉर्मेंस सेंटर का गठन किया था। पूर्व टेस्ट क्रिकेटर और स्पिनर नदीम खान को इसका निदेशक बनाया गया।
स्पिनर सकलैन मुश्ताक को सेंटर में इंटरनेशल प्लेयर डेवलपमेंट का हेड बनाया गया। न्यूजीलैंड के पूर्व क्रिकेटर ग्रांड ब्रैडबर्न को फील्डिंग कोच बनाया गया था।
यह भी पढ़ें : अब देवेंद्र फडणवीस ने नवाब मलिक पर लगाए ये गंभीर आरोप
यह भी पढ़ें : सुषमा की परंपरा को बेटी ने रखा जारी, आडवाणी के जन्मदिन पर चॉकलेट…
शादी को लेकर मलाला के बयान पर हुआ था विवाद
मलाला ने वैसे इससे पहले शादी को लेकर पहले एक इंटरव्यू में संदेह जताया था जिसे लेकर सोशल मीडिया पर उनकी काफी आलोचना हुई थी।
जुलाई में फैशन पत्रिका वोग को एक इंटरव्यू में मलाला ने कहा था – “मुझे यह बात समझ में नहीं आती कि लोग शादी क्यों करते हैं। अगर आपको जीवनसाथी चाहिए तो आप शादी के कागजों पर दस्तखत क्यों करते हैं, यह एक पार्टनरशिप क्यों नहीं हो सकती?”
उन्होंने कहा – “मेरी मां कहती हैं…भूलकर भी ऐसी बात मत करो! तुम्हें शादी करनी है, शादी एक सुंदर चीज है।”
मलाला पर हमला
मलाला यूसुफ जई पर तालिबान ने पाकिस्तान के खैबर पख़्तूनख़्वाह प्रांत के स्वात में 9 अक्टूबर 2012 को जानलेवा हमला किया था।
मलाला तब 15 साल की थीं और लड़कियों को शिक्षा का अधिकार दिए जाने को लेकर मुखर होकर आवाज उठाती थीं।
तालिबान चरमपंथी इससे नाराज थे और एक दिन एक चरमपंथी उनके स्कूल के बस में आया और ताबड़तोड़ गोलियां चलानी शुरू कर दीं जिसमें मलाला और उनकी दो दोस्त घायल हो गईं।
यह भी पढ़ें : कोविशील्ड और कोवैक्सीन को 96 देश दे चुके हैं मान्यता
यह भी पढ़ें : कानपुर में नहीं थम रहा जीका वायरस का कहर, मिले 16 नए मरीज
इसके बाद उन्हें इलाज के लिए इंग्लैंड भेजा गया था और ठीक होने के बाद वह शिक्षा के लिए वहीं रहती हैं। मलाला बर्मिंघम को अपना दूसरा घर बताती हैं।
2014 में 17 साल की उम्र में नोबेल शांति पुरस्कार से सम्मानित किया गया था। वह दुनिया में अब तक की सबसे कम उम्र की नोबेल पुरस्कार विजेता हैं।
यह भी पढ़ें : नोरा फतेही को देखकर फिर लोग क्यों बोल रहे हैं-हाय गर्मी!
यह भी पढ़ें : लड़कों से दोस्ती के लिए उनका खर्च भी उठाती हैं इस शहर की लड़कियां
मलाला ने पिछले साल (2020) में ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी से दर्शनशास्त्र, राजनीति और अर्थशास्त्र में डिग्री हासिल की।
डिग्री हासिल करने के बाद से मलाला अफगान शरणार्थियों को और बेहतर मदद देने की मांग की। उन्होंने साथ ही ऐप्पल टीवी+ के साथ डॉक्यूमेंट्री बनाने के लिए करार किया है और फैशन पत्रिका वोग के कवर पर छपीं, मगर उनका असल काम लड़कियों को शिक्षा दिलाने की स्थिति को बेहतर करना है।