पॉलिटिकल डेस्क
समाजवादी पार्टी (सपा) के राष्ट्रीय अध्यक्ष और यूपी के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने निषाद पार्टी समेत तीन छोटे दलों के साथ गठबंधन का एलान किया है। आगामी लोकसभा चुनाव में सपा- बहुजन समाज पार्टी (बसपा) और राष्ट्रीय लोकदल (आरएलडी) गठबंधन के साथ राष्ट्रीय समता दल, जनवादी पार्टी (सोशलिस्ट) और निषाद पार्टी मिल कर चुनाव लड़ेगी।
सूत्रों की माने तो गोरखपुर के सांसद प्रवीण निषाद एक बार फिर महागठबंधन के प्रत्याशी होंगे। वहीं, जनवादी पार्टी सोशलिस्ट को भी एक सीट मिल सकती है। सपा के सिंबल पर पार्टी का एक उम्मीदवार चुनाव लड़ सकता है।
इस दौरान अखिलेश यादव ने कहा कि तीन और दलों के साथ आने से महागठबंधन को मजबूती मिलेगी। बीजेपी पर हमला बोलते हुए सपा सुप्रीमो ने कहा,
जो लोग 74 सीटें जीतने का सपना देख रहे हैं उनका एक सीट के अलावा कहीं भी खाता नहीं खुलेगा। यूपी में जो महागठबंधन तैयार हुआ है, उसके बाद बीजेपी को सोचना पड़ेगा कि उनका खता खुलेगा की नहीं।
इस मौके पर बोलते हुए निषाद पार्टी के अध्यक्ष संजय निषाद ने कहा,
‘2018 में देश की अखंडता, संविधान, किसान नौजवान, मुस्लमान शोषितों और दलितों को बचाए रखने के लिए अखिलेश यादव और मायावती ने मिलकर गोरखपुर की सीट जीती थी। मैं उसके लिए बधाई देता हूं। 2019 में देश का नौजवान, किसान का भविष्य खतरे में है। देश में एक जुमलेबाज सरकार है। अब एक बार हम फिर साथ मिलकर 85 फीसदी आबादी इतिहास रचने जा रही हैं।‘
वहीं, जनवादी सोशलिस्ट पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष संजय चौहान ने भी गठबंधन को समर्थन दिया। उन्होंने कहा कि ओबीसी और दलितों का आरक्षण खत्म किया जा रहा है। बीजेपी पिछड़ो को लड़ाना चाहती है।