Monday - 28 October 2024 - 2:58 AM

धरने पर बैठे राज्यपाल धनखड़

न्यूज डेस्क

पश्चिम बंगाल में सत्तारूढ़ पार्टी टीएमसी और राज्यपाल आमने-सामने आ गए हैं। दोनों के बीच गतिरोध घटने के बजाए बढ़ता ही जा रहा है। बुधवार को राज्यपाल जगदीप धनखड़ ने बयान दिया था कि न तो मैं रबर स्टांप हूं और न ही पोस्ट ऑफिस और आज वह सरकार के खिलाफ धरने पर बैठ गए।

गुरुवार को पश्चिम बंगाल के राज्यपाल जगदीप धनखड़ विधानसभा पहुंचे और यहीं धरने पर बैठ गए। गर्वनर को धरने पर बैठा देख वहां मीडियाकर्मी जुट गए। इस बारे में मीडिया से बातचीत करते हुए उन्होंने कहा कि ‘मैं यहां इस ऐतिसाहिक बिल्डिंग को देखने आया था। मैं यहां की लाइब्रेरी में जाकर देखना चाहता था, लेकिन विधानसभा बंद है..अगर विधानसभा का सत्र नहीं चल रहा है तो इसका मतलब यह नहीं है कि विधानसभा बंद रहेगा। पूरे सचिवालय को आम दिनों में भी खुला रहना चाहिए।’

यह भी पढ़ें :  योगी का पुराना नाम लेना सपा नेता को पड़ा महंगा

यह भी पढ़ें :  बाल-बाल बचे वायु सेनाध्यक्ष आरके भदौरिया!

गवर्नर धनखड़ ने कहा कि राज्य का कोई अधिकारी उनकी बात सुनने को तैयार नहीं है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार किसी भी काम को लेकर उनसे कोई वाद-संवाद नहीं करती है।

गर्वनर जब विधानसभा पहुंचे तो उन्हें गेट पर ताला जड़ा मिला। वह लाइब्रेरी में नहीं जा सके इसलिए नाराज हो गए। गुस्से में वह विधानसभा के गेट के बाहर ही धरने पर बैठ गए।

धनखड़ के धरने पर बैठने का एक वीडियो भी सामने आया है। उन्हें धरने पर बैठा देख वहां मीडियाकर्मी जुट गए और फिर उन्होंने मीडिया वालों को अपने धरने पर बैठने की वजह बताई।

मालूम हो कि एक दिन पहले राज्यपाल जगदीप धनखड़ कोलकाता यूनिवर्सिटी पहुंचे थे। राज्यपाल इस यूनिवर्सिटी के चांसलर भी हैं। यहां आने के बाद उन्होंने देखा कि यूनिवर्सिटी में वाइस चांसलर समेत अन्य वरिष्ठ अधिकारी मौजूद नहीं हैं और यहां तक कि रजिस्ट्रार भी यूनिवर्सिटी में उपस्थित नहीं थे। जिसके बाद राज्यपाल जगदीप धनखड़ वाइस चांलसर के कमरे के बाहर बैठ गए थे। चांसलर के कमरे पर ताला लगा था और वो उनके इंतजार में यहां पर बैठ गए थे।

राज्यपाल विधानसभा का प्रथम सदस्य होता है, लेकिन आज जब राज्यपाल को विधानसभा के अंदर जाने को नहीं मिला तब वो राज्य विधानसभा के बाहर ही धरना देने लगे।

गौरतलब है कि पश्चिम बंगाल में सत्तारूढ़ सरकार और गर्वनर के बीच टकराव की खबरें अक्सर आती हैं। इससे पहले राज्य की सीएम ने गवर्नर पर सामानंतर सरकार चलाने का आरोप लगाया था।

यह भी पढ़ें : कर्मचारियों और अफसरों के लिए प्रसार भारती का क्या है फरमान

यह भी पढ़ें :  ‘मैं लहसुन-प्याज नहीं खाती, नहीं पड़ता मुझपर कोई फर्क’

Radio_Prabhat
English

Powered by themekiller.com anime4online.com animextoon.com apk4phone.com tengag.com moviekillers.com