पॉलिटिकल डेस्क
उत्तर प्रदेश लोकसभा निर्वाचन क्षेत्र में पांचवा क्षेत्र है बिजनौर से लगा नगीना लोकसभा क्षेत्र। नगीना पहले बिजनौर का ही हिस्सा था पर भारतीय परिसीमन आयोग की सिफारिश पर 2008 में इससे अलग निर्वाचन क्षेत्र बने गया। नगीना को इसका नाम सायेद में दिया था जिन्हें ये शहर मुगलों से जागीर के रूप में मिला था। नगीना का शाब्दिक अर्थ है गहना।
अंग्रेजी शासन के समय नगीना संयुक्त प्रान्त का एक तहसील हुआ करता था। 1857 में भारतीय विरोध में नगीना नजीबाबाद और अंग्रेजों के बीच हुए युद्ध का युद्ध क्षेत्र था। बिजनौर लकड़ी की शिल्प कला के लिए मशहूर है। यहीं से लगा लुहारी सराय अपने लकड़ी के कारीगरों के लिए मशहूर है। यहां शीशम और गुलाब की लकड़़ी का काम होता है। यह बिजनौर नामी कवि खुर्रम शहजाद नूर की जन्मस्थली भी है।
आबादी/ शिक्षा
नगीना की कुल आबादी 22,26,436 है। यहां प्रति 1000 पुरुषों पर 913 महिलाएं हैं। वर्तमान में यहां के कुल मतदाताओं की संख्या 14,93,411 है जिसमें महिला मतदाता 6,97,857 और पुरुष मतदाताओं की संख्या 7,95,554 है। नगीना की 29 प्रतिशत आबादी हिंदू और 70 प्रतिशत आबादी मुस्लिम है। 2014 लोकसभा चुनाव में 14,93419 लोगों ने मतदान किया मतदान में 53 प्रतिशत पुरुष और 46 प्रतिशत महिलाओं ने की भागेदारी की। नगीना लोकसभा क्षेत्र के अंतर्गत 6 विधानसभा क्षेत्र आते हैं जिसमें नजीबाबाद, नगीना, धामपुर, नेह्तौर, नूरपुर, बरहापुर शामिल है। नगीना के लोकसभा क्षेत्र की सीट अनुसूचित जाति के लिए आरक्षित है।
राजनीतिक घटनाक्रम
यह सीट 2009 लोकसभा चुनाव से पहले ही अस्तित्व में आई थी। 2009 में ये सीट समाजवादी पार्टी के खाते में गई तो 2014 में इस सीट पर भी मोदी लहर का असर दिखा और भारतीय जनता पार्टी के खाते में गई। मुस्लिम बहुल होने के बावजूद भी ये सीट बीजेपी के पास गई, अब इस चुनाव में एक बार फिर बीजेपी की नजर यहां से जीत हासिल करने पर है।