रूबी सरकार
मध्यप्रदेश में कमलनाथ सरकार को बचाने और गिराने के लिए होने वाले फ्लोर टेस्ट में व्हिप की अहम भूमिका रहेगी। ज्योतिरादित्य सिंधिंया के साथ 6 मंत्रियों सहित जिन 22 विधायकों ने त्यागपत्र दिये हैं, उन्हें लेकर कांग्रेस पार्टी फ्लोर टेस्ट के पहले व्हिप जारी कर सकती है। इसका उल्लंघन करने पर इन पर कार्रवाई होगी। दल-बदल कानून लागू करके इन्हें अपात्र घोषित किया जा सकता है।
शुक्रवार को इनमें से 13 विधायकों को स्पीकर के सामने आना था, लेकिन वे नहीं आए। 9 अन्य विधायकों को नोटिस जारी कर 15 मार्च को बुलाया गया था, लेकिन अभी तक वे भी नहीं आये।
विधानसभा अध्यक्ष ने कहा कि वे नियम प्रकिया से बंधे हुए हैं और इसी के तहत वे कार्य करते हुए इस्तीफा देने वाले विधायकों से मिलने का इंतजार कर रहे हैं। उन्होंने शनिवार को पत्रकारों से कहा कि छुट्टी होने के बावजूद वे अपने अधिकारियों के साथ विधानसभा में थे और कल भी वे संबंधित विधायकों का इंतजार करते रहें और आज भी।
विधानसभा अध्यक्ष एनपी प्रजापति ने कहा कि दो तीन विधायक ऐसे हैं, जिनके मामले में गंभीर शिकायतें हैं, उन्हें रखूं या निकालू इस पर अलग तरीके से निर्णय लूंगा। इस तरह दो-तीन विधायकों पर संकट के बादल हैं। उन्होंने विधायकों के नाम नहीं बताए।
इसके आलावा विधानसभा अध्यक्ष ने कोरोना वायरस को लेकर विधानसभा में सेनेटाइजर और मास्क की व्यवस्था की बात कही है।
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