जुबिली न्यूज़ डेस्क
उत्तर प्रदेश की योगी सरकार अभी हाथरस गैंगरेप काण्ड को लेकर घिरी हुई है. इस घटना को लेकर विपक्ष सरकार पर हमलावर है और सरकार की काफी किरकिरी हो चुकी है. वहीं इसी बीच अब योगी सरकार में राज्य मंत्री स्वतंत्र प्रभार स्वाति सिंह की बदजुबानी को लेकर नया बखेड़ा शुरू हो गया है.
लखनऊ में एक दिन पहले तहसील समाधान दिवस में नायब तहसीलदार पर स्वाति सिंह की अमर्यादित टिप्पणी का विरोध शुरू हो गया है। स्वाति सिंह ने नायब तहसीलदार मनीष त्रिपाठी को फटकारते हुए कहा था कि, ‘तुम नायब तहसीलदार हो या गुंडा।’
उनके इस बयान के विरोध में और नायब तहसीलदार के समर्थन में वकील और राजस्व कर्मी आ गए हैं। साथ ही लेखपालों ने सरोजनीनगर तहसील में सांकेतिक कार्य बहिकष्कार किया। अधिवक्ताओं ने भी मंत्री के खिलाफ नारेबाजी की और मार्च निकाला है।
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बता दें कि इससे पहले मंत्री सीओ और मीडियाकर्मियों को भी फटकार लगा चुकी हैं। सीओ को धमकी देने वाला ऑडियो जब वॉयरल हुआ था तब सीएम योगी ने स्वाति को फटकार लगाई थी।
स्वाती सिंह ने भी रखा अपना पक्ष
घटना के संबंध में राज्य मंत्री स्वाती सिंह ने भी अपना पक्ष रखा है. उन्होंने कहा कि इस मामले में वह कमिश्नर से बात कर चुकी हैं। उनसे खनन की जांच कराने को भी कहा है। अवैध खनन के दोषियों के खिलाफ वह कार्रवाई चाहती हैं। प्रशासनिक अमले के भ्रष्टाचार के खिलाफ और सरकार की मंशा को पूरा करते हुए जनप्रतिनिधि के रूप में वह अपना दायित्व निभा रही हैं।
मंत्री ने कहा कि सरोजनीनगर में अवैध खनन की शिकायतें आ रही थी। खनन में नायब तहसीलदार मनीष त्रिपाठी की संलिप्तता की शिकायत मिल रही थी। मंगलवार को तहसील दिवस में जनसुनवाई के दौरान वह ग्रामीणों से वार्ता कर रही थीं। वहां नायब तहसीलदार उपस्थित नहीं थे।
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