जुबिली डेस्क
हाल के दिनों में विजय माल्या, नीरव मोदी समेत 36 बिजनेसमैन, जो आपराधिक मामलों में आरोपी रहे हैं, देश छोड़कर भाग चुके हैं। यह खुलासा प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने किया है। दरअसल अगस्ता वेस्टलैंड वीवीआईपी हेलिकॉप्टर घोटाले में गिरफ्तार कथित रक्षा एजेंट सुषेन मोहन गुप्ता की जमानत याचिका का विरोध करते हुए ईडी ने सोमवार को कहा कि जिस तरह आपराधिक मामलों में आरोपी 36 बिजनेसमैन देश छोड़कर भाग गए, उसी तरह ये भी भाग सकते हैं।
विशेष न्यायाधीश अरविंद कुमार को प्रवर्तन निदेशालय ने ये जानकारी दी। सुषेन मोहन के इस दावे को जांच एजेंसी के विशेष सरकारी वकील डीपी सिंह और एनके मट्ट ने खारिज किया कि वे काफी सामाजिक आदमी हैं।
इन लोगों ने कहा, ‘माल्या, ललित मोदी, नीरव मोदी, मेहुल चोकसी और संदेसरा ब्रदर्स (स्टर्लिंग बायोटेक लिमिटेड के प्रमोटर्स) की भी समाज में काफी जान-पहचान थी। इसके बावजूद वे देश छोड़कर भाग गए। ऐसे 36 कारोबारी हैं जो पिछले कुछ वर्षों में देश से भाग गए।
सुषेन मोहन ने इस आधार पर राहत मांगी है कि एजेंसी ने पहले ही जांच पूरी कर ली है और मामले में चार्जशीट दाखिल कर दी है।
कौन हैं आरजी
सुनवाई के दौरान, ईडी के वकील सम्वेदना वर्मा ने अदालत को बताया कि जांच एक महत्वपूर्ण चरण में है और एजेंसी यह पता लगाने की कोशिश कर रही थी कि सुषेन मोहन की डायरियों में लिखा गया शब्द ‘आरजी’ कौन है। वर्मा ने आरोप लगाया कि सुषेन मोहन मामले में गवाहों को प्रभावित करने की कोशिश कर रहे हैं और इन्होंने सबूतों को नष्ट करने की भी कोशिश की है।
कोर्ट ने सुषेन मोहन की जमानत याचिका पर 20 अप्रैल के लिए फैसला सुरक्षित कर लिया है। ऐसा संदेह है कि 3600 करोड़ रुपये के अगस्ता वेस्टलैंड वीवीआईपी हेलिकॉप्टर डील मामले में सुषेन मोहन के पास कुछ भगतान की जानकारी है। मोहन को एजेंसी ने प्रिवेंशन ऑफ मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट (पीएमएलए) के तहत गिरफ्तार किया था।