जुबिली न्यूज डेस्क
लद्दाख़ में वास्तविक नियंत्रण रेखा के नज़दीक अचानक आई बाढ़ में पांच भारतीय सैनिकों की डूबकर मौत हो गई है. सेना के अधिकारियों के मुताबिक़ यह हादसा लद्दाख़ के पास दौलत बेग ओल्डी इलाक़े में हुआ. रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने पांचों सैनिकों की मौत पर दुख जताया है.
उन्होंने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर लिखा है, ”हम अपने इन बहादुर सैनिकों की देश के प्रति अनुकरणीय सेवा को कभी भूल नहीं पाएंगे. इन सैनिकों के परिजनों के साथ दुख की इस घड़ी में साथ खड़े हैं. पूरा देश इस घड़ी में उनके साथ खड़ा है.”हादसा शुक्रवार को उस समय हुआ जब ये सैनिक टैंकों के साथ किए जाने वाले एक अभ्यास के दौरान नदी पार कर रहे थे.
उसी समय नदी का जलस्तर अचानक बढ़ गया. हादसे के वक़्त टैंक पर पांच सैनिक सवार थे. इनमें एक जेसीओ और चार जवान शामिल हैं. मारे गए जवानों के शव बरामद कर लिए गए हैं. लद्दाख के दौलत बेग ओल्डी इलाके में नदी पार करने के टैंक अभ्यास के दौरान एक टी-72 टैंक हादसे का शिकार हो गया। जब टैंक नदी पार कर रहा था, तब पानी का लेवल अचानक बढ़ गया। इस हादसे में एक JCO समेत पांच जवानों की मौत हो गई।
घटना रात 1 बजे हुई।। सभी पांचों शव बरामद कर लिए गए हैं। अधिकारियों ने बताया कि हादसा चुशूल से 148 किलोमीटर दूर मंदिर मोड़ के पास हुआ। PRO पीएस सिंधु ने दैनिक भास्कर से बात करते हुए कहा कि हम तथ्यों की जांच कर रहे हैं। हादसे का शिकार हुए जवानों के नाम आरआईएस एमआर के रेड्डी, डीएफआर भूपेंद्र नेगी, एलडी अकदुम तैयबम, हवलदार ए खान (6255 एफडी वर्कशॉप), सीएफएन नागराज पी (एलआरडब्ल्यू) हैं। रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने X पर पोस्ट करके जवानों की मौत की खबर शेयर की है।
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तीन लोगों के जगह, 5 जवान बैठे थे
आमतौर पर इस टैंक पर कमांडर, एक गनर और एक ड्राइवर होता है। प्रैक्टिस के दौरान इसमें 5 जवान सवार थे। रिपोर्ट्स में यह दावा किया जा रहा है कि नदी के ऊपरी इलाके में बारिश के चलते पानी बढ़ गया। रात होने के चलते जवानों को इसका पता नहीं चल सका। T-72 टैंक 5 मीटर (16.4 फीट) गहरी नदियों को पार करने की क्षमता रखता है। यह एक छोटे डायामीटर वाले स्नोर्कल की मदद से नदी पार करता है। इमरजेंसी के लिए इस पर सवार क्रू के सभी सदस्यों के रीब्रीदर दिया जाता है। अगर टैंक का इंजन पानी के भीतर बंद हो जाता है, तो इसे 6 सेकंड के भीतर फिर से चालू करना होता है। ऐसा नहीं करने पर कम दबाव होने के कारण T-72 के इंजन में पानी भर जाता है।