जुबिली न्यूज डेस्क
बांग्लादेश में कट्टरपंथियों का हिंदुओं और हिंदू मंदिरों पर हमला जारी है. 6 दिसंबर रात को ढाका में एक और हिंदू मंदिर को निशाना बनाने की खबर सामने आई है. स्थानीय मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, कट्टरपंथियों ने इस्कॉन नमहट्टा मंदिर ढाका पर शुक्रवार रात हमला किया.
बताया जा रहा है कि पहले मंदिर में तोड़फोड़ की गई, इसके बाद भीड़ ने देवताओं की मूर्तियों में आग लगा दी. बांग्लादेश में स्थित इस मंदिर का प्रबंधन इस्कॉन कर रहा था. वहीं इस हमले के बाद एक बार फिर हिंदू संगठनों ने आरोप लगाया है कि कट्टरपंथी लगातार अल्पसंख्यक हिंदुओं को निशाना बना रहे हैं और मुहम्मद यूनुस मूकदर्शक बने रहते है.
कोलकाता इस्कॉन के उपाध्यक्ष राधारमण दास ने भी इस घटना की पुष्टि की है. उन्होंने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर लिखा, “मंदिर की टिन की छत हटा दी गई और मूर्तियों को जलाने से पहले उन पर पेट्रोल डाला गया. एक सप्ताह पहले, इस्कॉन नमहट्टा केंद्र को मुस्लिम भीड़ ने जबरन बंद करा दिया था. चिन्मय कृष्ण दास प्रभु और उनके सहयोगियों की हाल ही में हुई गिरफ्तारी, हिंदू संगठन इस्कॉन पर प्रतिबंध लगाने के प्रयास और देशद्रोह के मामलों के जरिए हिंदू विरोध को दबाया जा रहा है. हिंदुओं का उत्पीड़न जारी है.”
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कट्टरपंथी हिंदू मंदिरों को लगातार निशाना बना रहे हैं. चिन्मय दास की गिरफ्तारी 31 अक्टूबर को एक स्थानीय राजनेता की शिकायत के बाद हुई थी, जिसमें चिन्मय दास और अन्य पर हिंदू समुदाय की एक रैली के दौरान बांग्लादेश के राष्ट्रीय ध्वज का अपमान करने का आरोप लगाया गया था.