जुबिली स्पेशल डेस्क
लखनऊ। एक करोड़ सैलरी लेकर यूपी सरकार को ठगने की आरोपी महिला टीचर अनामिका सिंह अब पुलिस की गिरफ्त में है। पुलिस अब उससे सख्ती से पूछताछ कर रही है। पुलिस की कड़ी पूछताछ में अनामिका सिंह ने कई राज से पर्दा उठाया है। अब पता चला है कि खुद को अनामिका सिंह बताने वाली इस टीचर का नाम कुछ और है। जानकारी के मुताबिक अनामिका सिंह ने पुलिस को बताया है कि उसका असली नाम प्रिया जाटव है।
पूछताछ इस बात की तस्दीक हो रही है। बता दें कि उत्तर प्रदेश के कासगंज में बेसिक शिक्षा विभाग में तैनात शिक्षिका अनामिका सिंह ने बड़ा फर्जीवाड़ा करते हुए 25 स्कूलों में नौकरी कर 13 महीनों के अंदर एक करोड़ रुपये की सैलरी भी उठा डाली है।
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पुलिस की पूछताछ में अपना नाम अनामिका सिंह बताने वाली कोई और नहीं बल्कि प्रिया जाटव है। हालांकि अब भी यह रहस्य है बना हुआ है कि असली अनामिका शुक्ला कौन है और कहा है। जिसके नाम पर सारा फर्जीवाड़ा हुआ है।
पुलिस लगातार इस बात का पता लगाने में जुटी हुई है। पुलिस की पूछताछ में पता चला है कि अनामिका उर्फ प्रिया जाटव ने बताया है कि उसकी नौकरी के पीछे राज नाम के व्यक्ति का हाथ है। उसी की सलाह में उसने नौकरी मिली और इस दौरान एक लाख रुपये खर्च कर दस्तावेज बनाकर नौकरी भी लगवाने का वादा लिया था और अगस्त 2018 में उसे नियुक्ति पत्र मिल गया था।
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उधर पता यह भी चला है कि अनामिका शुक्ला ने दस्तावेजों से भी छेड़छाड़ की है। दरअसल उसके मूल दस्तावेजों में उसकी फोटो पर सवाल है क्योंकि उसमें धुंधली फोटो लगी थी। इसके साथ ही आधार कार्ड और अन्य दस्तावेज फर्जी बनाये गए है।
पुलिस ने बताया कि अनामिका सिंह के खिलाफ बीएसए अंजलि सिंह ने थाना सोरो में एफआईआर लिखाने के लिए तहरीर दी है। इसके बाद पुलिस ने इस मामले में एक्शन लेते हुए अनामिका को गिरफ्तार किया है। बता दें कि अनामिका कासगंज के फरीदपुर के कस्तूरबा गांधी स्कूल में तैनात थी।
पुलिस ने अनामिका के खिलाफ धोखाधड़ी एवं कूटरचित अभिलेख तैयार करने के मामले में धारा 420, 467 एवं 468 में मुकदमा दर्ज किया है।
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बता दें कि अनामिका की पोस्टिंग उत्तर प्रदेश के प्रयागराज, अंबेडकरनगर, अलीगढ़, सहारनपुर, बागपत जैसे जिलों के कतूरबा गांधी बालिका विद्यालय पाई गई है। इन स्कूलों में टीचर्स की नियुक्ति कॉन्ट्रैक्ट बेसिस पर होती है और हर महीने 30 हजार रुपये की सैलरी मिलती है। जिले के हर ब्लॉक में एक कस्तूरबा गांधी विद्यालय है। समाज के कमजोर तबके से आने वाली लड़कियों के लिए इन स्कूलों में आवासीय सुविधा भी होती है। हालांकि अब भी यह बड़ा सवाल है आखिर कौन है अनामिका शुक्ला।