जुबिली न्यूज़ डेस्क
बदलते मौसम के चलते सर्दी-जुकाम आपको घेर लेती है और लोग इनसे बचने के लिए कई घरेलू नुस्खों को अपनाते हैं। हम आपको सर्दी-जुकाम से बचने और राहत पाने के लिए कुछ ऐसे ही आसान घरेलू उपाय बताने जा रहे हैं।
हल्दी कच्ची हो या पकी, दोनों ही रूपों में यह लाभदायक होती है। इसके अतिरिक्त हल्दी के जड़ों में भी कई तरह के एसेंशियल ऑइल होते हैं, जो इलाज करने में सक्षम होते हैं। हल्दी गले के दर्द में सूजन को कम करके जलन, खुजली, दर्द आदि से राहत दिलाने में मदद करती है।
गरारा/कुल्ला: इस पद्धति से गले के सतह पर हल्दी का एक स्तर जम जाता है जो जीवाणु को मिटाने में मदद करता है। इन्हीं जीवाणुओं के कारण गले में दर्द होता है। नियमित रूप से गरारा करने पर गले का दर्द भी धीरे-धीरे अच्छा होने लगता है। इस इलाज के लिए आधा कप गुनगुना गर्म पानी लें उसमें आधा चम्मच नमक व एक चौथाई चम्मच हल्दी पावडर डालें। इस मिलावट से प्रातः काल पहले गरारा करें। गरारा करने के बाद आधा घंटेतक कुछ खायें पीएं नहीं ताकि औषधी अच्छी तरह से कार्य कर सके।
अगर ये स्किप करना चाहते है तो इसके स्थान आप हल्दी वाली चाय भी ले सकते हैशहद व नींबू का रस गुनगुने गर्म पानी में मिलाकर सेवन करने से बहुत जल्दी गलेकेदर्द से राहत मिलती है। इस मिलावट में हल्दी मिलाने से काढ़ा का असर व भी बढ़ जाता है। इस औषधी को बनाने के लिए चार कप उबलते पानी में एक बड़ी चम्मच हल्दी पावडर डालकर कुछ मिनटों तक उबालें। इस मिलावट को छानकर नींबू व शहद की कुछ बूंदें उसमें डालें। गले के दर्द से राहत पाने के लिए हल्दी चाय को गरमागरम ही पीयें।
ध्यान दे यदि आप गरारा नहीं कारण चाहते तो आप हल्दी वाला दूध लेहल्दी का सबसे ज़्यादा प्रयोग सर्दी, खांसी व गले के दर्द के दवा के रूप में होता है। हल्दी के एंटी-इंफ्लेमेटॉरी (प्रज्वलनरोधी) गुण के साथ दूध के असंख्य स्वास्थ्यवर्द्धक गुण मिल जाते हैं, जो गले के दर्द से राहत दिलाने में बहुत मदद करते हैं। हल्दी दूध को बनाने के लिए एक गिलास दूध में आधा चम्मच हल्दी व पीसी हुई काली मिर्च डालें। गले के दर्द से राहत पाने के लिए दिन में दो बार इसका सेवन करें।
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