पॉलिटिकल डेस्क
गंगा, यमुना और सरस्वती के संगम पर बसा इलाहाबाद राजनीति और धर्म की दृष्टि से हमेशा ही प्रासंगिक रहा है। यह भूमि महाकुंभ और चंद्रशेखर आजाद की बलिदान भूमि के रूप में भी जानी जाती है। इलाहाबाद जिला उत्तर प्रदेश के 75 जिलों में से एक है। यह इलाहाबाद मंडल का हिस्सा है। आजादी से पहले यह ‘यूनाइटेड प्रोविएंस’ का हिस्सा हुआ करता था। इलाहाबाद से लाल बहादुर शास्त्री, वीपी सिंह, मुरली मनोहर जोशी, जनेश्वर मिश्रा जैसे राजनीतिक दिग्गजों के साथ-साथ अमिताभ बच्चन यहां से सांसद रह चुके हैं। इलाहाबाद लोकसभा निर्वाचन क्षेत्र उत्तर प्रदेश की 80 लोकसभा सीटों में इलाहाबाद 52वें नंबर की सीट है।
आबादी/ शिक्षा
इलाहाबाद संसदीय क्षेत्र में कुल पांच विधानसभा सीटें हैं जिसमें मेजा, करछना, इलाहाबाद दक्षिण, बारा और कोरांव शामिल है। बारा और कोरांव विधानसभा सीट अनुसूचित जाति के लिए सुरक्षित है। 2011 की जनगणना के अनुसार इलाहाबाद की आबादी 5,954,391 है जिनमें पुरुषों की 2,822,584 और महिलाओं की आबादी 3,131,807 है।
यहां प्रति 1000 पुरुषों पर 901 महिलायें है। पूरी आबादी का 14.87 प्रतिशत हिस्सा 6 साल से कम उम्र का है। पूरी आबादी का 24.74 प्रतिशत हिस्सा शहरों और 75.26 प्रतिशत हिस्सा गांवों में रहता है। यहां लिंगानुपात 1000 पुरुषों पर 901 है। यहां की साक्षरता दर 72.32 प्रतिशत है जिसमें पुरुषों की साक्षरता दर 82.55 प्रतिशत और महिलाओं की 60.9 है। यहां मतदाताओं की कुल संख्या 1,666,569 है जिसमें महिला मतदाता 749,001 और पुरुष मतदाता की संख्या 917,403 है।
राजनीतिक घटनाक्रम
इलाहाबाद में पहला लोकसभा चुनाव 1952 में हुआ जिसमें कांग्रेस विजयी रही। 1957 और 1962 में यहां से लालबहादुर शास्त्री कांग्रेस की टिकट पर निर्वाचित हुए। 1967 और 1971 के दोनों आम चुनाव में भी कांग्रेस पार्टी ने जीत दर्ज की। 1977 में कांग्रेस पांचवीं जीत की उम्मीद लगाये बैठी थी लेकिन कांग्रेस की उम्मीदों पर लोकदल के ज्ञानेश्वर मिश्र ने जीत दर्ज करके पानी फेर दिया। पूर्व प्रधानमंत्री स्व. विश्वनाथ प्रताप सिंह कांग्रेस के टिकट पर 1980 में जीतकर निर्वाचित हुए। 1981 में उपचुनाव हुए और इसमें कांग्रेस (आई) के के.पी. तिवारी ने जीत दर्ज की। वहीं 1984 में इस सीट से कांग्रेस की टिकट पर अमिताभ मैदान में उतरे और विजयी हुए।
1988 में जहां वी.पी. सिंह ने निर्दलीय जीत दर्ज की तो वहीं 1989 और 1991 में जनता दल ने इस सीट पर कब्जा किया। 1996, 1998 और 1999 में भाजपा के मुरली मनोहर जोशी ने इस सीट पर लगातार तीन बार जीत दर्ज की। 2004 और 2009 के आम चुनावों में समाजवादी पार्टी ने बहुजन समाज पार्टी को लगातार दो बार हराया। वर्तमान में यहां से भारतीय जनता पार्टी के श्याम चरण गुप्ता सांसद है।