जुबिली न्यूज डेस्क
नए कृषि कानूनों के खिलाफ आंदोलन कर रहे किसान संगठनों के साथ गतिरोध तोड़ने के लिए केंद्र सरकार ने एक और कोशिश की है। केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने किसान संगठनों के नेताओं को तीन दिसंबर की जगह आज ही बातचीत के लिए आमंत्रित किया है।
It was decided that next round of talks will be held on Dec 3 but farmers are agitating, it's winter & there's COVID. So meeting should be held earlier. So farmer leaders – present in 1st round of talks – have been invited at Vigyan Bhavan on Dec 1 at 3 pm: Agriculture Minister https://t.co/1y5DNCT0U0
— ANI (@ANI) November 30, 2020
केंद्रीय मंत्री का ये प्रस्ताव बीजेपी के वरिष्ठ नेताओं के साथ विचार-विमर्श के बाद आया। सरकार की ओर से रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह अगुवाई करेंगे। उनके साथ कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर समेत अन्य कुछ मंत्री रह सकते हैं। इनके अलावा कृषि मंत्रालय के वरिष्ठ अधिकारी जो कानून पर विस्तार से बात करेंगे, वो भी मौजूद रहेंगे। बता दें कि केंद्र सरकार के तीन कृषि कानूनों के खिलाफ हजारों किसान दिल्ली की सीमा पर पिछले पांच दिनों से धरने पर हैं।
केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने 1 दिसंबर यानी आज दिल्ली के विज्ञान भवन में किसान नेताओं के साथ बैठक बुलाई है। पिछले 6 दिनों से किसान सड़कों पर हैं और लगातार सरकार से आधिकारिक वार्ता की अपील कर रहे थे।
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बता दें कि पहले सरकार की शर्त थी कि किसान बुराड़ी ग्राउंड में जाएं, फिर बात होगी लेकिन किसानों ने इसे नहीं माना था। इससे पहले अक्टूबर-नवंबर में भी किसान-सरकार के प्रतिनिधियों की बात हो चुकी है।
#WATCH Protesting farmers use a tractor to remove barricading done at Ghazipur-Ghaziabad (Delhi-UP) border#FarmersProtest #Ghaziabad pic.twitter.com/g3VfCMFEAI
— ANI (@ANI) December 1, 2020
दूसरी ओर किसानों के प्रदर्शन के बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने वाराणसी में कृषि कानूनों के फायदे गिनाएं और इसे किसानों के लिए हितकारी करार दिया। साथ ही पीएम मोदी ने आरोप लगाया कि कुछ राजनीतिक दल किसानों को बर्गला रहे हैं और सरकार के खिलाफ उकसा रहे हैं।
There are more than 500 groups of farmers in the country, but the Govt has invited only 32 groups for talks. The rest haven't been called by the govt. We won't be going for talks till all groups are called: Sukhvinder S Sabhran, Jt Secy, Punjab Kisan Sangarsh Committee in Delhi pic.twitter.com/jYGQlEMKSk
— ANI (@ANI) December 1, 2020
वहीं, पंजाब किसान संघर्ष समिति के संयुक्त सचिव सुखविंदर एस सबहरन ने कहा कि देशभर में 500 किसान संगठन हैं, लेकिन सरकार ने सिर्फ 32 समूहों को बुलाया है। बाकियों को अभी तक नहीं बुलाया गया है। जब तक सभी ग्रुप्स को बुलाया नहीं जाता तबतक हम बातचीत के लिए नहीं जाएंगे।
अन्नदाता सड़कों-मैदानों में धरना दे रहे हैं,
और
‘झूठ’ टीवी पर भाषण!किसान की मेहनत का हम सब पर क़र्ज़ है।
ये क़र्ज़ उन्हें न्याय और हक़ देकर ही उतरेगा, न कि उन्हें दुत्कार कर, लाठियाँ मारकर और आंसू गैस चलाकर।
जागिए, अहंकार की कुर्सी से उतरकर सोचिए और किसान का अधिकार दीजिए।
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) December 1, 2020
कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने एक बार फिर ट्वीट कर किसानों का समर्थन किया है। राहुल गांधी ने ट्वीट किया कि सैकड़ों अन्नदाता मैदानों में धरना दे रहे हैं और ‘झूठ’ टीवी पर भाषण! किसान की मेहनत का हम सब पर कर्ज है। ये कर्ज उन्हें न्याय और हक देकर ही उतरेगा, न कि उन्हें दुत्कार कर, लाठियां मारकर और आंसू गैस चलाकर जागिए, अहंकार की कुर्सी से उतरकर सोचिए और किसान का अधिकार दीजिए।