जुबिली न्यूज़ डेस्क
कोरोना महामारी ने पूरे देश में कोहराम मचा के रखा हुआ है। इस भयानक महामारी के दुबारा उभरे संकट के बीच पांच राज्यों में विधानसभा चुनाव हो रहे हैं। इन राज्यों में सभी राजनितिक दल चुनाव प्रचार में जमकर लगे हुए जिसमें कोरोना नियमों की अनदेखी जारी है लेकिन अब ये अनदेखी उनके सभी राजनितिक पार्टियों के लिए भारी पड़ सकती है।
दरअसल कोरोना वायरस के बढ़ते मामलों की वजह से चुनाव आयोग ने चुनाव प्रचार के दौरान कोरोना नियमों को लेकर ढिलाई बरतने पर चेतावनी जारी की है। चुनाव आयोग ने पिछले साल कोविड-19 के संबंध में आयोग द्वारा जारी निर्देशों का पूरी गंभीरता से पालन करने को कहा है।
चुनाव आयोग की ओर से बीते दिन बताया कि आयोग ‘मानदंडों को बनाए रखने में ढिलाई पर गंभीर विचार लेता है, विशेष रूप से मंच पर राजनीतिक नेताओं द्वारा मास्क नहीं पहने जाना’ और अगर ऐसी स्थिति में सुधार नहीं होता है तो रैलियों के आयोजित करने पर प्रतिबंध लगा दिया जाएगा।
चुनाव आयोग ने कहा है कि, हाल ही में कई हफ़्तों में ये देखा गया है कि कोरोना के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं। इसके बाद आयोग के ध्यान में आया कि चुनावी बैठकों, प्रचार के दौरान आयोग के निर्देशों की अवहेलना करते हुए सामाजिक दूरी बनाए रखने, मास्क पहनने के नियमों का पालन नहीं हुआ।
इसके अलावा चुनाव आयोग ने अपने पत्र में स्टार प्रचारकों और नेताओं या उम्मीदवारों द्वारा कोविड-19 के नियमों का पालन न किये जाने का उल्लेख किया है। पत्र में ये भी कहा गया है कि प्रचार के दौरान या मंच पर भी मास्क पहनने के नियमों का पालन नहीं हुआ।
ऐसा होने से राजनीतिक दलों के नेताओं और उम्मीदवारों के साथ ऐसी चुनावी सभा में बड़ी संख्या में हिस्सा लेने वाले लोगों के भी संक्रमित होने का खतरा बढ़ रहा है। इसके बाद चुनाव आयोग ने इसके उल्लंघन होने पर, निर्देशों की अवहेलना करने वाले उम्मीदवारों, स्टार प्रचारकों या नेताओं की जनसभाओं, रैलियों पर रोक लगाने से नहीं हिचकिचाएगा।
बता दें कि शनिवार को पश्चिम बंगाल में चौथे चरण के मतदान पड़ने हैं तीन चरण के बाद और तीन राज्यों और एक केंद्र शासित प्रदेश में प्रचार और मतदान पूरा होने के बाद यह चेतावनी चुनाव आयोग की तरफ से जारी की गई है ।
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चुनाव आयोग की तरफ से बताया कि यह स्पष्ट किया जाता है कि आयोग, उल्लंघन के मामलों में, बिना किसी संदर्भ के डिफ़ॉल्ट उम्मीदवारों / स्टार प्रचारकों / राजनीतिक नेताओं की सार्वजनिक बैठकों, रैलियों आदि पर प्रतिबंध लगाने में संकोच नहीं करेगा।
देश में कोरोना के मामलों की बढ़ती संख्या को ध्यान में रखते हुए, चुनाव निकाय ने दोहराया कि चुनाव संबंधी सभी कार्यक्रमों में फेस मास्क, हैंड सैनिटाइज़र और थर्मल स्कैनर आदि का उपयोग करना अनिवार्य था।