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बहुचर्चित उन्नाव रेप कांड की पीड़िता के लिए दिल्ली हाई कोर्ट ने दिल्ली महिला आयोग को सख्त आदेश दिए है। कोर्ट ने रेप पीड़िता को घर उपलब्ध कराने के आदेश के साथ ही डीसीडब्ल्यू की चेयरपर्सन को पीड़िता के पुनर्वास उपायों की देख करने का भी निर्देश दिया है। पीड़िता की सुरक्षा मद्देनजर हाईकोर्ट ने ये आदेश दिया है।
गौरतलब है कि 28 जुलाई को उन्नाव रेप पीड़िता अपने चाचा से मिलने रायबरेली जेल जा रहा थी। इस दौरान सड़क हादसा हो गया था जिसमें दो लोगों की मौत हो गयी थी। जबकि पीड़िता और उसकी वकील गंभीर रुप से घायल हो गयी थी। पीड़िता का इलाज कुछ दिन केजीएमसी के ट्रामा में चल रहा था। लेकिन हालत गंभीर होने के कारण उसको दिल्ली एम्स भेजा गया था। हालांकि, अब उसकी हालत पहले से बेहतर है।
एपल इंक को नौ अक्टूबर तक का समय
वहीं, दिल्ली हाईकोर्ट ने बीते दिनों इस मामले में सुनवाई कर अमेरिकी टेक दिग्गज एपल इंक को तलब किया था। कोर्ट ने पूंछा कि जिस दिन उन्नाव में नाबालिग के साथ रेप हुआ था। उस दिन आरोपी विधायक कुलदीप सिंह सेंगर की लोकेशन क्या थी। इसका जवाब देने के लिए कोर्ट ने कंपनी को नौ अक्टूबर तक का समय दिया है।
क्या है मामला
बता दें कि उन्नाव की एक युवती ने विधायक कुलदीप सिंह सेंगर पर रेप का आरोप लगाया है। युवती का आरोप है कि जब वो नाबालिग थी, तब कुलदीप सिंह सेंगर ने उसका रेप किया था। इस मामले के सामने आने के बाद बीजेपी ने कुलदीप सिंह सेंगर को पार्टी से भी निकाल दिया है।
साथ ही मामले की जांच सीबीआई को सौंपी गई थी। इसके बाद मामले की सुनवाई भी दिल्ली कोर्ट में ट्रांसफर कर दी गई थी। फिलहाल रेपकांड में आरोपी विधायक कुलदीप सिंह सेंगर जेल में बंद है।