न्यूज डेस्क
भारत में कोरोना वायरस से संक्रमित लोगों की संख्या 8000 को पार कर गई है। स्वास्थ्य मंत्रालय के आंकड़ों के मुताबिक देश में कोरोना वायरस की चपेट में कुल 8356 लोग आ चुके हैं। इसमें से 715 लोगों का सफलतापूर्वक इलाज किया जा चुका है, जबकि इलाज के दौरान 273 लोगों की मौत हो चुकी है। इस तरह से देश में इस वक्त कोरोना के एक्टिव मामलों की संख्या 7367 है।
पीएम नरेंद्र मोदी ने देश में लॉक डाउन लागू करके देश को कोरोना वायरस से बचाने के लिए बड़ा कदम उठाया है और जानकार बताते हैं कि इससे फायदा भी हुआ है। लेकिन कई राज्यों में कोरोना वायरस का संक्रमण तेजी से फैल रहा है। महाराष्ट्र, तमिलनाडू, दिल्ली, यूपी, मध्यप्रदेश और राजस्थान में कोरोना वायरस का प्रकोप बढ़ता जा रहा है। साथ ही मौत का आंकड़ा भी तेजी से बढ़ रहा है।
विश्व स्वास्थ्य संगठन के स्रोत से लिए गए आंकड़ों के आधार पर तैयार आंकड़ों का विश्लेषण कहता है कि 7000 केस पर 23 देशों की सूची में मृत्यु दर के मामले में भारत 10 ऐसे देशों में है जहां मृत्यु दर सबसे ज्यादा है। अगर कोरोना के 7000 मामलों को आधार मानकर दुनिया के दूसरे देशों से भारत की तुलना की जाए तो पता चलता है कि भारत में कोरोना मरीजों की मृत्यु दर चीन, अमेरिका और फ्रांस से बहुत ज्यादा है।
जबकि जर्मनी और दक्षिण कोरिया ने कोरोना मरीजों के इलाज में बेहतरीन कामयाबी हासिल की है। यहां 7000 मामलों पर मृत्यु दर भारत के मुकाबले बहुत कम है। हालांकि इटली, स्पेन, ब्रिटेन स्वीडन, नीदरलैंड, ब्राजील में 7000 कोरोना संक्रमण पर मौत का आंकड़ा भारत से बहुत ज्यादा है।
7000 कोरोना संक्रमण के आधार पर जिन देशों में भारत से कम मौतें हुई हैं, वे देश हैं जर्मनी, दक्षिण कोरिया, चीन, फ्रांस और अमेरिका। भारत में जब कोरोना संक्रमण का आंकड़ा 7000 था तो मौतों की संख्या 249 थी, जबकि जब जर्मनी में 7000 केस थे तो उस वक्त वहां मात्र 13 लोगों की मौत हुई थी, दक्षिण कोरिया में ये आंकड़ा 54 था, अमेरिका में तब मात्र 100 लोगों की मौत हुई थी, चीन में 170 लोगों ने जान गंवाई थी. फ्रांस में 7000 केस पर मौत का आंकड़ा 175 था और ईरान में ये डाटा 237 था।
जिन देशों में भारत से मृत्यु दर ज्यादा है वे देश हैं स्पेन जहां 7000 कोरोना संक्रमण पर मौत का आंकड़ा 288 था, जबकि ब्राजील में ये आंकड़ा 299 था। इटली में 366 लोगों की मौत हो चुकी थी।
7000 कोरोना संक्रमित मामलों में ब्रिटेन में 422 लोगों की मौत हो चुकी थी, नीदरलैंड में 434 लोगों की मौत हो चुकी थी, जबकि स्वीडन में 477 लोगों की मौत हुई थी। यानी जिस कोरोना वायरस ने चीन के बाद अमेरिका, ईरान और फ्रांस जैसे देशों में तबाही मचाई है वहां भी 7 हजार केस तक हालात भारत से कहीं ज्यादा बेहतर थे।