Wednesday - 30 October 2024 - 2:09 AM

छपास रोग से ग्रसित साध्‍वी ने फिर कराई फजीहत

सुरेंद्र दुबे 

भोपाल की भाजपा सांसद साध्‍वी प्रज्ञा ठाकुर एक बार फिर सुर्खियों में आ गई हैं। उन्‍हें मालूम है कि अगर वह कोई बुद्धिमत्‍ता पूर्ण बयान देंगी तो मीडिया वाले उन्‍हें कतई घास नहीं डालेंगे। इसलिए इस बार उन्‍होंने विपक्ष पर भाजपा नेताओं के खिलाफ मारक शक्तियों का इस्‍तेमाल करने का सनसनीखेज आरोप लगा दिया।

अब विपक्ष का मतलब तो कांग्रेस ही है इसलिए कांग्रेसी भड़क गए और उन्‍हें पागल तक कह दिया। लगता था कि साध्‍वी प्रज्ञा कांग्रेस पर फिर पलटवार करेंगी परंतु वह मौन हो गईं क्‍योंकि उन्‍हें भाजपा नेतृत्‍व ने फिर डांट लगाई। हो सकता है इसका जवाब वो फिर कभी और दें। अब तो मामला अंतर्राष्ट्रीय हो गया है। एक ब्रिटिश सांसद ने भी प्रज्ञा ठाकुर पर ट्वीट किया है।

हमारे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज ही कई देशों की यात्रा कर विजय पताका फहराते हुए लौटे हैं। जहां उन्‍होंने ट्रंप जैसे नेताओं की भी बोलती बंद कर दी। जो कल तक कह रहे थे कि वह भारत और पाकिस्‍तान के बीच मध्‍यस्‍थ्‍ता के लिए तैयार हैं वो अब मोदी से कह रहे हैं कि भाई तुम लोग आपस में निपट लो, हमे बीच में न डालो। इतने प्रभावशाली हैं हमारे प्रधानमंत्री,  पर प्रज्ञा ठाकुर की बोलती बंद नहीं कर पा रहे हैं।

आपकों याद होगा कि लोकसभा चुनाव के समय प्रज्ञा ठाकुर ने महात्‍मा गांधी के हत्‍यारे नाथूराम गोडसे को देशभक्‍त कह दिया था, जिससे भाजपा की बड़ी किरकिरी हुई थी। चुनाव का समय था सो प्रज्ञा ठाकुर के खिलाफ कोई कार्रवाई तो हो नहीं सकती थी, इसलिए प्रधानमंत्री ने यह कह कर अपनी कड़ी नारजगी जाहिर की थी वह प्रज्ञा ठाकुर को कभी दिल से माफ नहीं कर पाएंगे।

तब से प्रज्ञा ठाकुर लगातार कुछ न कुछ छिछला बयान देकर भाजपा की फजीहत कराती रहती हैं। पर उनका कुछ ऐसा जलवा है कि पार्टी उनके खिलाफ कोई कड़ा कदम उठाने से हिचकिचाती रहती है। कभी–कभी तो ऐसा लगता है कि प्रज्ञा ठाकुर को प्रधानमंत्री माफ कर चुके हैं, अगर माफ नहीं किया होता तो प्रज्ञा इस तरह के घटिया बयान नहीं दे पाती। ये एक कटु सत्‍य है कि भाजपा में मोदी के मर्जी के बगैर पत्‍ता भी नहीं हिल सकता। अब अगर साध्‍वी प्रज्ञा लगातार हिली हुई हैं तो फिर मोदी की नाराजगी दिखावा मात्र ही है।

ताजा मामला उस भोपाल का ही है जहां कि बुद्धिमान जनता ने प्रज्ञावान सांसद को चुना है। कल भाजपा के कार्यालय में पूर्व वित्‍तमंत्री अरुण जेटली व मध्‍य प्रदेश के पूर्व मुख्‍यमंत्री बाबू लाल गौर को श्रद्धांजलि देने के लिए शोकसभा आयोजित थी। अब भोपाल का मामला था सो आयोजकों की मति मारी गई थी इसलिए उन्‍होंने साध्‍वी प्रज्ञा को भी शोक व्‍यक्‍त करने के लिए बुला लिया।

साध्‍वी तो भरी हुई बैठी थी क्‍योंकि ज्‍यादातर लोग उनसे किनारा ही किए रहते हैं, लेकिन साध्‍वी ने अपनी पूर्ण प्रज्ञा का परिचय देते हुए विपक्ष पर आरोप लगा दिया कि उनके मारक तंत्र-मंत्रों के कारण ही भाजपा के नेता निपटते जा रहे हैं। उन्‍होंने ये भी कहा कि यह बात उन्‍हें एक सन्‍यासी ने काफी पहले ही बता दी थी। सन्‍यासी का नाम नहीं बताया, लगता है कोई सन्‍यासी है भी नहीं । प्रज्ञा को अपनी बात के समर्थन में किसी की आड़ लेनी थी सो वह सन्‍यासी के आड़ में छुप गईं।

प्रज्ञा ठाकुर का दांव तो काम आ गया। बड़े-बड़े अखबारों में पहले पन्‍ने पर मोटे-मोटे अक्षरों में प्रज्ञा की खबर छपी। कोई बुद्धिमत्‍ता पूर्ण बात करती तो एक कॉलम में कहीं पड़ी होती। ये बात अलग है कि बड़का टीवी ने प्रज्ञा की खबर को ज्‍यादा महत्‍व नहीं दिया क्‍योंकि इन लोगों को मालूम है कि इस तरह की खबरों से भाजपा की छवि खराब होती है सो अपने चरित्र के अनुकूल इन लोगों ने भाजपा की छवि खराब न होने देकर अपने राष्‍ट्रवादी होने का परिचय दिया। ये बात अलग है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पहले ही सांसदों को यह पाठ पढ़ा चुके हैं कि सांसदों को छपास रोग से बचना चाहिए, पर साध्‍वी हैं कि मानती ही नहीं।

प्रज्ञा ठाकुर के बयान से कुछ कांग्रेसी नेताओं को मिर्ची लग गई। साध्‍वी के बयान को बेहद आपत्तिजनक बताते हुए मध्य प्रदेश कांग्रेस के मीडिया विभाग की अध्यक्ष शोभा ओझा ने कहा कि ‘प्रज्ञा सिंह अपना मानसिक संतुलन खो बैठी हैं और पागलखाना ही उनके लिये सही जगह है।’

वहीं, कांग्रेस के बड़े नेता ज्योतिरादित्य सिंधिया ने प्रज्ञा ठाकुर के बयान पर कहा कि मुझे बड़ा अफसोस है कि एक जिम्मेदार पद पर बैठे व्यक्ति ने ऐसा बयान दिया है। भाजपा को ऐसे व्यक्ति को अवसर देने पर अपने गिरेबान में झांकना चाहिये, क्योंकि देश में राजनीति का स्तर बनाये रखना बेहद महत्वपूर्ण और मुश्किल काम बन चुका है।

साध्‍वी प्रज्ञा की ख्‍याति अब ब्रिटेन तक पहुंच गई है। ब्रिटिश संसद के उच्‍च सदन हाउस ऑफ लॉर्ड में आजीवन सदस्‍य नियुक्‍त किए गए पहले मुस्लिम सांसद लॉर्ड नजीर अहमद ने साध्‍वी के इस बयान पर चुटकी लेते हुए ट्वीट किया कि ‘विपक्ष के बीजेपी पर जादू, टोना, तंत्र-मंत्र के दावे के बीच पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी, पूर्व वित्तमंत्री अरुण जेटली, पूर्व विदेश मंत्री सुषमा स्‍वराज, मध्‍य प्रदेश के पूर्व सीएम बाबू लाल गौर, गोवा के पूर्व सीएम मनोहर पर्रिकर की पिछले एक साल के अंदर मौत हो गई। अगला नंबर नरेंद्र मोदी का है।’

अब एक घटिया नेता कैसे हमारे देश की फजीहत करा सकता है इसका इससे घटिया कोई उदाहरण नहीं हो सकता है। अब जब ब्रिटिश सांसद ने सीधे-सीधे ट्वीट कर नरेंद्र मोदी का नाम इंगित कर दिया है तो भाजपा का आईटी सेल तो इसका करारा जवाब देगा ही और देना भी चाहिए।

साध्‍वी प्रज्ञा को तो कांग्रेसियों ने पागल बता ही दिया है , क्‍या ये ब्रिटिश सांसद भी पागल हो गए हैं जो एक पागल की कही गई बात पर ट्वीट कर रहे हैं? पर क्‍या करें, मौका तो भाजपा सांसद ने ही दिया है। अब देखते हैं मामला नरेंद्र मोदी की अदालत में पहुंचता है कि नहीं और अगर पहुंचता है तो फिर कोई कार्रवाई होती है कि नहीं। कहीं ऐसा तो नहीं मामला नरेंद्र मोदी के दिल से माफ न करने तक ही सिमटा रहे।

(लेखक वरिष्‍ठ पत्रकार हैं, लेख उनके निजी विचार हैं)

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