जुबिली स्पेशल
- गोवा में पार्टी में टूट बचाने के लिए कांग्रेस नेतृत्व सक्रिय, बागियों में घबराहट, बीजेपी बचाव की मुद्रा में
मुश्किलें कांग्रेस का पीछा ही नहीं छोड़ती। एक समस्या का समाधान होते दिखना नहीं है कि दूसरी समस्या सामने खड़ी हो जाती है। महाराष्ट्र में शिवसेना और एनसीपी के साथ साझेदारी में चल रही सरकार गिरने के बाद कांग्रेस की मुश्किलों के नया पड़ाव है गोवा।
कांग्रेस की कार्यकारी अध्यक्ष सोनिया गांधी और पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी की ईडी के यहां पेशी को मुद्दा बनाकर कांग्रेसियों ने आंदोलन का माहौल बनाया और बीजेपी को एक्सपोज करने के लिए अग्निपथ को राष्ट्रीय आंदोलन बनाने की मुहिम तेज की तो कार्यकर्ताओं में जोश बढ़ने लगा। लेकिन इन्हीं खबरों के बीच महाराष्ट्र में महा अघाड़ी सरकार को झटका लगा। इस झटके से उबरते कि पड़ोस के ही समुद्री तट वाले प्रदेश गोवा से नई खबरें सुर्खियां बन रही हैं।
विधानसभा चुनाव के पांच महीने बीते नहीं कि कांग्रेस विधायकों के असंतोष की खबरें चर्चा में हैं। कहा जा रहा है कि राज्य में कांग्रेस के 11 में से कम से कम आठ या इससे भी अधिक विधायक बीजेपी में शामिल होने की तैयारी में हैं। दूसरी ओर कांग्रेस की ओर से इस झटके को टालने की कोशिशें तेज कर दी गई हैं। पार्टी ने तत्काल प्रभाव से दलबदल की तैयारी कर रहे माइकल लोबो को विपक्षी दल के पद से हटाने के साथ ही उनके साथ इस साजिश में कथित रूप से शामिल बताए जा रहे दिगंबर कामत की सदस्यता रद्द करने की मांग की है।
पार्टी के गोवा प्रदेश अध्यक्ष अमित पाटकर ने सोमवार को बताया कि उनके दो सीनियर नेताओं ने स्वेच्छा से पार्टी छोड़ने का फैसला किया है इसलिए हम उनकी सदस्यता रद्द करने की सिफारिश करने जा रहे हैं। अमित पाटकर ने बाकायदा विधानसभा अध्यक्ष रमेश तावड़कर से मिलकर दोनों सदस्यों के बैठने की जगह बदलने की मांग की है।
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गोवा कांग्रेस में उठापटक के बीच ट्विटर पर एक हैसटैग बहुत जोर पकड़ रहा है कि कांग्रेस मतलब बीजेपी। इस सियासी हलचल की वजह से कांग्रेस के गोवा में एक बार फिर टूट की आशंका है वहीं सोशल मीडिया पर कांग्रेस को लेकर तरह तरह के मीम शेयर किए जा रहे हैं। गपशप या सच्चाई चर्चा है कि पश्चिम बंगाल में भी कांग्रेस के विधायक तृणमूल कांग्रेस की ओर झुकाव दिखा रहे हैं।
बीजेपी दे रही सफाई
इस चर्चाओं के बीच गोवा के मुख्यमंत्री ने दावा किया है कि हमारी सरकार पूरी मजबूती से चल रही है। हमें किसी की जरूरत नहीं है हमें 25 विधायकों का समर्थन हासिल है। इधर, कांग्रेस नेतृत्व के समय से एक्शन में आ जाने के बाद बागियों के हौसले पस्त दिख रहे हैं। माइकल लोबो और दिगंबर कामत ने कहा है कि उन्होंने कांग्रेस नहीं छोड़ी है और वे खुद हैरान है। उन्हें इस बात का धक्का लगा है कि उनपर इस तरह के आरोप लग रहे हैं। लोबो ने कहा कि यदि मुझे पार्टी के नेता पद से हटा रहे हैं तो दिगंबर कामत के बारे में विचार करना चाहिए।