न्यूज डेस्क
सरकारी दफ्तरों में बैठकर सिगरेट पीना और गुटखा खाना अब आपके काफी महंगा पड़ सकता है। यूपी की योगी सरकार दफ्तरों में बढ़ते धूमपान और गुटखा खाने के चलन पर रोक लगाने का कड़ाई से पालन करने की तैयारी में है।
इसके सख्त नियम बनाए जा रहे हैं और नियम को अधिकारियों और कर्मचारियों ने तोड़ा तो उन पर कार्रवाई होगी और उनसे पांच सौ का जुर्माना वसूला जाएगा। इतना ही नहीं दफ्तर की दीवार पर पान की पीक मिली तो कार्रवाई की तलवार जिम्मेदार अधिकारियों पर लटक सकती है।
दरअसल, प्रधानमंत्री के स्वच्छता अभियान को सफल बनाने के लिए योगी सरकार काफी मेहनत कर रही है। लेकिन सीएम योगी की इस मेहनत के बीच में में सरकारी अफसर और कर्मचारी रोड़ा बन रहे हैं, इसलिए सरकार के अधिकारी समय-समय पर कर्मचारियों और अधिकारियों को स्वच्छता का पाठ पढ़ाते रहते हैं।
मंडलायुक्त मुकेश मेश्राम ने भी सरकारी अधिकारियों व कर्मचारियों को कामकाज में शालीनता लाने का पाठ पढ़ाते हुए शासनादेश की भी याद दिलाई और कहा कि अब सरकारी दफ्तरों में पान, गुटखा और तंबाकू खाकर इधर-उधर थूकना आसान नहीं होगा। परिसर में बीड़ी सिगरेट का सेवन करते पाए जाने पर पांच सौ रुपये का जुर्माना लगाया जाएगा। संबंधित अधिकारी व कर्मचारी के नाम से जुर्माने की रसीद काटी जाएगी और जुर्माने की रकम ट्रेजरी में जमा होगी।
दरअसल, कई सरकारी दफ्तर परिसरों में ही पान मसाला और सिगरेट की दुकानें खुली हैं और कर्मचारी सीट के बगल में ही मसाले को थूकते हैं।
सुबह नौ बजे से करानी होगी सफाई
दफ्तर खुलने के बाद सफाई होती है और इससे कामकाज प्रभावित होता है। अधिकारी व कर्मचारी सफाई होने का इंतजार करते हैं और काम कराने आए लोगों को बेवजह का इंतजार करना पड़ता है। अब नौ बजे से पहले ही दफ्तर की सफाई करानी होगी। वहीं अगर आउटसोर्सिग के कर्मचारी हैं तो ठेकेदार को अपने खर्च पर कर्मचारियों को वर्दी उपलब्ध करानी होगी, जिसमें उसका नाम अंकित हो।
कमीज के खुले बटन, अव्यवस्थित पोशाक अब नहीं चलेगी। टी-शर्ट पहनकर भी दफ्तर नहीं आ सकेंगे। कपड़ा भी साफ और शालीन वेशभूषा का होना चाहिए।
टेबल पर फाइल तो होगी कार्रवाई, तीन दिन में ही करें निस्तारण
अब तीन दिन में ही पत्रवलियों का निराकरण करना होगा। धन वसूली के चक्कर में टेबल पर पत्रवली को लंबित रखने वाले अधिकारी व कर्मचारियों पर कार्रवाई हो सकती है। आवेदन करने वाले का मोबाइल नंबर भी लेना होगा, जिससे उसे काम होने की सूचना दी जा सके।
अब एक रजिस्टर बनाना होगा, जिससे फाइल के शुरू होने की तिथि और काम खत्म होने का ब्योरा रखना होगा। अब बैठक के दौरान जलपान और भोजन नहीं मिलेगा। बैठक के पूर्व और खत्म होने के बाद ही पेट पूजा हो सकेगी