जुबिली न्यूज़ डेस्क
नई दिल्ली. चीन की सेना भारत के दबाव की वजह से भले ही लद्दाख से पीछे हट गई लेकिन उसने भारत की वास्तविक ताकत का अंदाजा लगाते हुए पूरी तैयारी के साथ वापसी का फैसला किया है. दिखावे के तौर पर चीन यही दर्शा रहा है कि दोनों देशों के बीच टकराव खत्म हो गया है लेकिन एलएसी पर तैनात अपने सैनिकों को चीन ने नये शक्तिशाली हथियारों से लैस कर दिया है.
कड़ाके की ठंड में भी चीन के सैनिक एलएसी पर जमे रहे. इस दौरान उन्होंने भारतीय सैनिकों का हौसला भी देखा. भारतीय सैनिकों के जज्बे से सीख लेते हुए चीन ने इस बार तैयारी के साथ एलएसी पर तैनात होने का फैसला किया है.
चीन ने एलएसी पर ऐसा रॉकेट लांचर तैनात कर दिया है जो एक बार में 40 रॉकेट दाग सकता है. चीन एलएसी पर ऐसी बख्तरबंद गाड़ी तैनात करने जा रहा है जिसमें तीन क्रू मेम्बर के अलावा 10 सैनिकों के बैठने की जगह बनाई गई है. इस गाड़ी में पीछे भी दरवाज़ा है और ऊपर भी दरवाज़ा है. इस गाड़ी के अन्दर बैठे-बैठे ही सैनिक फायरिंग कर सकते हैं. इस बख्तरबंद गाड़ी में एंटी टैंक मिसाइल भी लगाई गई है.
चीन ने अपने सैनिकों के लिए एक ऐसे वाहन का इंतजाम भी किया है जो लद्दाख के दुर्गम स्थानों तक ज़रूरी रसद और अन्य सामान ले जा सके. यह वाहन डेढ़ टन सामान के साथ 35 डिग्री एंगल पर 16 हज़ार फुट की ऊंचाई तक चढ़ सकता है.
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चीन ने अपने खुद के बनाए हेलीकाप्टर तिब्बत में तैनात किये हैं. चीन की सेना ने रात के आपरेशन का भी काफी अभ्यास किया है. भारतीय सेना के टैंकों से मुकाबला करने के लिए चीन ने अपने 15 लाइट टैंक भी तैनात किये हैं. चीन ने एलएसी पर ज़मीन से हवा में मार करने वाली मिसाइल से लैस एंटी एयरक्राफ्ट रेजीमेंट को भी तैनात किया है.