जुबिली स्पेशल डेस्क
छत्तीसगढ़ में चुनाव हो चुका है और तीन दिसम्बर को पता चलेगा कि कांग्रेस वहां पर दोबारा आ रही है या नहीं। कांग्रेस ने छत्तीसगढ़ में अच्छा काम किया और उसको पूरा भरोसा है वो सत्ता में वापस लौट रही है तो दूसरी तरफ बीजेपी को उम्मीद है जनता है उनको फिर से सत्ता में ला रही है तो दूसरी तरफ कांग्रेस की अगर फिर से सरकार बनती है तो वहां का अगला सीएम कौन होगा इसको लेकर अब खींचतान शुरू हो गई है।
इस रेस में जय वीरू की जोड़ी में भूपेश बघेल का नाम एक बार फिर सामने आ रहा है। अब सीएम पद को लेकर टीएस सिंहदेव ने खुलकर अपनी बात रखी है। एक टीवी चैनल को दिए साक्षात्कार में उन्होंने इस पर अपनी राय रखी है। पेश है उस बातचीत के पूरे अंश…
डिप्टी सीएम टीएस सिंहदेव ने कहा, “मेरी सोच, विचार ने बहुत फर्क नहीं पड़ता है। मेरे लिए काम ही काम मायने रखता है। काम का प्रकार बदल जाता है। कभी चुनाव प्रचार, कभी लोगों की मदद, कभी विभाग में काम, कभी खेलने की बात हो जाती है. जो करूं उसी में व्यस्त रहता हूं। उन्होंने कहा कि अभी समीक्षा चल रही है कहां कितने वोट गिरे, कितने वोट हो सकते है। प्रदेश की क्या स्थिति है।
कहां कितने
विधायकों की जितने की संभावना है। वही जोड़, घटाव चल रहा है. सरकार बनेगी, मैं टारगेट लगाना छोड़ दिया। पहले चुनाव के बाद से मैं कितने वोट से जीतूंगा ये सोचना ही बंद कर दिया। काम करो और साथियों के ऊपर छोड़ दो।
#ChhattisgarhElections2023 डिप्टी सीएम @TS_SinghDeo ने सीएम बनने को लेकर दिया बड़ा बयान. इस बार का बयान थोड़ा हटकर और मार्मिक. @gyanendrat1 @ravikantabp pic.twitter.com/mP5mpbyiGS
— Amitesh Pandey (ABP News) (@amiteshtinku) November 18, 2023
मतदाताओं के उपर छोड़ दो, जो परिणाम आएगा उसको स्वीकार करो।डिप्टी सीएम टीएस सिंहदेव ने मीडिया के सवालों पर कहा, “ये तो तय है कि सीएम बनने का ये आखिरी मौका है। सीएम नहीं बनने की स्थिति में आगे चुनाव लडऩे का कोई औचित्य नहीं है, और ना ही मैं लड़ूंगा. जो काम मिलेगा, मतदाता जो जिम्मेदारी देंगे उसे निभाने की पूरी कोशिश करूंगा।”
सिंहदेव ने आगे कहा, “मन की भावनाएं हैं, उसे मन में रखा है उससे बड़ी चीज क्या है. बाकी भौतिक रूप से काम करने का मौका मिलेगा तो मुझे खुशी होगी। मैं भी चाहूंगा कि जिस स्थान में काम करने का मौका मिले कर के देखूं। विधायक था तो विधायक के रूप में काम किया। नेता प्रतिपक्ष था तो वहां जो हो सकता था योगदान दिया। मंत्री के रुप में काम किया, जो भी कर सकता था. आगे जो भी जिम्मेदारी मिलेगी अपनी क्षमता के अनुसार करूंगा।”