- छत्तीसगढ़ में बदलाव की आहट
- पिछले दो दिन में करीब 35 विधायक और 3 मंत्री दिल्ली पहुंच चुके हैं
- आज करीब 15-20 विधायक और दिल्ली पहुंच सकते हैं
जुबिली स्पेशल डेस्क
पंजाब के बाद अब छत्तीसगढ़ भी कांग्रेस के लिए बड़ी चुनौती बनकर सामने आया है। दरअसल पंजाब की तरह छत्तीसगढ़ कांग्रेस में भी रार देखने को मिल रही है।
पंजाब में जहां कैप्टेन बनाम सिद्धू के बीच रार देखने को मिली वैसा अब छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल और स्वास्थ्य मंत्री टीएस सिंहदेव के बीच देखने को मिल रहा है।
बताया जा रहा है कि ढाई साल बाद मुख्यमंत्री न बनाए जाने से टीएस सिंहदेव इन दिनों काफी नाराज चल रहे हैं। इस मामले को सुलझाना अब कांग्रेस के लिए बड़ी चुनौती बनता जा रहा है।
छत्तीसगढ़ ऐसा राज्य जहां कांग्रेस 90 विधानसभा सीट में से 70 पर काबिज है. पूरे देश में अगर कहीं कांग्रेस सबसे ज्यादा मजबूत दिखाई दे रही है तो इस राज्य का नाम छत्तीसगढ़ है।
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माना जा रहा था कि राहुल गांधी के साथ सीएम भूपेश बघेल और स्वास्थ्य मंत्री टीएस सिंहदेव की बैठक के बाद मामले को सुलझा लिया जायेगा।
उधर कांग्रेस से जुड़े सूत्र बता रहे हैं कि राहुल गांधी चाहते हैं कि सीएम भूपेश बघेल के बजाये टीएस सिंहदेव को सीएम बना दिया जाये लेकिन वो किसी विवाद के बगैर। उधर 2 दिन से गहमागहमी रायपुर से लेकर दिल्ली में देखने को मिल रही है।
जानकारी यहां तक मिल रही है कि 35 विधायक और 3 मंत्री दिल्ली पहुंच गए है और इस मामले में लगातार अपनी पैनी नजर बनाये हुए है। ऐसे में सवाल उठ रहा है कि क्या छत्तीसगढ़ में विधायकों ने अब बगावती तेवर दिखाने का मन बना लिया है।
शुक्रवार को राहुल गांधी इस मामले में दोनों ने नेताओं के साथ एक बैठक करने वाले हैं और इसके बाद कोई बड़ा फैसला लिया जा सकता है। बदलाव की आहट के बीच छत्तीसगढ़ में राजनीतिक पारा एकाएक बढ़ता नजर आ रहा है। भूपेश बघेल कैंप के विधायकों ने प्रभारी पीएल पुनिया से मिलकर अपनी बात रखी है।
वहीं पार्टी महासचिव प्रियंका गांधी वाड्रा भी अपने विदेश दौरे से वापस लौट चुकी हैं और अब देखना होगा कि वो इस मुद्दे पर क्या रूख अपनाती है।