जुबिली न्यूज डेस्क
गणतंत्र दिवस के मौके पर मंगलवार को किसानों के ट्रैक्टर परेड के दौरान हुई हिंसा को लेकर योगेन्द्र यादव, भारतीय किसान यूनियन के नेता राकेश टिकैत समेत कई किसान नेताओं के खिलाफ केस दर्ज किया गया है। पुलिस ने सरवन सिंह पंढेर, सतनाम सिंह पन्नू के खिलाफ भी एफआईआर दर्ज किया है।
मंगलवार को दिल्ली में हुई हिंसा की वजह से किसान आंदोलन पर सवाल उठ रहा है। किसान खुद परेशान है। इस मामले में किसान नेता भी उन लोगों की पहचान कर रहे हैं जो कि हिंसा में शामिल थे। पुलिस ने मामले में साजिश रचे जाने का भी केस दर्ज किया है।
फिलहाल किसानों ने एक फरवरी को संसद मार्च की भी योजना बनाई है।
मंगलवार को हुई हिंसा में डीटीसी की 6 बसों और 5 पुलिस वाहनों को नुकसान पहुंचा है। एफआईआर से ये जानकारी मिली है। इस हिंसा में कुल 300 पुलिसकर्मी घायल हुए हैं और 70 के आस-पास बैरिकेड टूटे हैं। पुलिस ने इस मामले में 22 एफआईआर दर्ज की हैं।
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वहीं इस हिंसा के लिए किसानों के एक बड़े तबके ने दीप सिद्धू को हिंसा के लिए जिम्मेदार ठहराया है, जिसने की लाल किले की प्राचीर पर सिख धर्म का झंडा लगाया।
किसानों का आरोप है कि दीप सिद्धू बीजेपी का सदस्य है। यह सरकार का आदमी है। हमको इस साजिश को समझने की जरूरत है। कैसे ये लोग लाल किले पहुंचे और पुलिस ने उन्हें जाने दिया?
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किसानों का कहना है कि जिन्होंने लाल किले पर हुड़दंग मचाया है वे किसान नहीं हैं गद्दार हैं। किसान आज सिंघू बॉर्डर पर बैठक कर रहे हैं, जिससे कि आगे की रणनीति तय की जा सके।
वहीं केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कल एक उच्च स्तरीय मीटिंग बुलाई थी, जिसमें फैसला लिया गया था कि दिल्ली में अतिरिक्त संख्या में सुरक्षा बल तैनात किए जाएंगे। पंजाब और हरियाणा सरकार ने भी हाई अलर्ट जारी कर दिया है।
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