जुबिली न्यूज़ डेस्क
मुख्यमंत्री कमलनाथ की अध्यक्षता में बुधवार को हुई कैबिनेट की बैठक में महत्वपूर्ण फैसले लिए गए। इस बैठक में मध्य प्रदेश के सभी विभागों के कर्मचारियों के लिए आयोग बनाने पर फैसला लिया गया। बैठक में यह भी फैसला लिया गया कि प्रदेश में डाक्टरों को अब एक साल तक गांव में समय बिताना होगा। 20 आदिवासी जिलों में संचालित अस्पताल में डॉक्टरों को विशेष प्रोत्साहन भत्ता मिलेगा। साथ ही राज्य योजना आयोग के नए स्वरूप को भी मंजूरी दी गई।
यह भी पढ़ें : अदिति सिंह को कांग्रेस का सरप्राइज गिफ्ट
कमलनाथ सरकार ने महत्वपूर्ण फैसला के बाद अनुसूचित क्षेत्रों में सामान्य वर्ग के व्यक्ति को अपनी जमीन का डायवर्सन करने का अधिकार अब मिल जाएगा। अभी 10 साल पहले वह डायवर्शन नहीं करा पाता था, इसकी वजह से विकास कार्य भी प्रभावित होते थे। राजस्व विभाग ने इस निर्णय के लिए भू राजस्व संहिता की दो धाराओं में संशोधन कर दिया है।
कोका कोला कंपनी को बाबई के मोहासा में जमीन की राशि जमा करने पर लगाए गए ब्याज से करीब 90 लाख रुपए की छूट दी गई है।
कमलनाथ कैबिनेट ने राज्य लोकस सेवा आयोग के माध्यम से होने वाली भर्तियों को छोड़कर शेष पदों के लिए परिवीक्षा अवधि 2 से बढा़कर 3 साल कर दी है। इसके मुताबिक पहले साल 70 फीसदी और दूसरे साल 80 और तीसरे साल 90 फीसदी वेतन मिलेगा।
पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग के आजीविका मिशन के तहत काम करने वाली महिलाएं, स्व सहायता समूह के महासंघ द्वारा संचालित पूरक पोषण आहार के संयंत्रों का संचालन का जिम्मा एमपी एग्रो को सौंपने का कैबिनेट ने निर्णय लिया है। स्वास्थ्य के क्षेत्र में निवेश के लिए निवेश प्रोत्साहन नीति 2019 को मंजूरी दी गई है। इसके तहत नगर निगम और नगर पालिका क्षेत्र के बाहर 30 बिस्तर तक के अस्पताल बनाने में निवेश करने पर जमीन रियायती दर पर दी जाएगी।
यह भी पढ़ें : क्यों चर्चा में हैं गोवा के राज्यपाल
यह भी पढ़ें : तो क्या सूर्य यान वाकई लैंड कर गया