जुबिली न्यूज़ ब्यूरो
नई दिल्ली. उत्तर प्रदेश की तर्ज़ पर मध्य प्रदेश की बीजेपी सरकार ने दंगाइयों के खिलाफ बुल्डोजर को हथियार बनाया तो बीजेपी विधायक और पूर्व मंत्री अजय विश्नोई ने ही अपनी सरकार पर सवाल उठा दिया. विश्नोई ने कहा कि सरकार को बुल्डोजर चलाने के बजाय शराब की बिक्री रोकनी चाहिए थी. असंतुष्ट नेता के तौर पर पहचान रखने वाले विधायक अजय विश्नोई ट्वीटर के ज़रिये लगातार सरकार को रास्ता दिखाते रहते हैं.
योगी सरकार को अपराधियों पर बुल्डोजर चलाते देखकर मध्य प्रदेश की शिवराज सरकार ने भी बुल्डोजर का स्टेयरिंग थामा तो अजय विश्नोई ने सरकार को सलाह दी कि अगर यूपी सरकार का ही अनुसरण करना है तो गांव-गांव बिक रही शराब को रोकें, इससे बुल्डोजर के मुकाबले ज्यादा समर्थन और ज्यादा वोट मिलेगा.
अजय विश्नोई किसी भी मौके पर सरकार को आइना दिखाने से चूकते नहीं हैं. मध्य प्रदेश में हुए विधानसभा उप चुनाव में बीजेपी की हार हुई तो सात बार से लगातार विधायक बन रहे जयंत मलैया ने बीजेपी की हर को जनता का विरोध बताया. बीजेपी ने इस बयान को अनुशासनहीनता मानते हुए न सिर्फ जयंत मलैया को नोटिस जारी किया बल्कि उनके बेटे सिद्धार्थ मलैया को पार्टी से बाहर का रास्ता दिखा दिया. अजय विश्नोई तब भी चुप नहीं बैठे थे. उन्होंने पार्टी के शीर्ष नेतृत्व पर निशाना साधते हुए सवाल पूछा कि क्या हार की ज़िम्मेदारी टिकट बाँटने वाले और चुनाव प्रभारी की ज़िम्मेदारी संभालने वाले नहीं लेंगे.
अजय विश्नोई ने इससे पहले मध्य प्रदेश में आये दिन जलने वाले ट्रांसफार्मर और बिजली के जर्जर तारों के मुद्दे पर भी सरकार को कटघरे में खड़ा किया था. विश्नोई अपनी बात बड़ी साफगोई से कहते हैं. उन्हें इस बात की कभी फ़िक्र नहीं रहती है कि उनके बयान को बीजेपी नेतृत्व किस तरह से लेगा.
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