जुबिली न्यूज डेस्क
2024 में होने वाले लोकसभा चुनाव को लेकर देशभर में तैयारियां शुरू हो चुकी है। पक्ष विपक्ष दोनों तैयारियों में जुट चुके है। पूरे देश की सियासत में हलचल मची हुई है। ऐसा में विपक्ष एकता की कोशिश में जुट गई है। इसी कड़ी में नीतीश कुमार और केसीआर जैसे नेता बीते कुछ दिनों से विपक्षी एकता की कोशिशों में जुटे हैं। नीतीश कुमार ने दिल्ली तक दौरे किए हैं और केसीआर से भी पटना में मुलाकात की थी। इसके अलावा तेलंगाना के सीएम केसीआर भी कई बार मोदी सरकार को हराने का आह्वान कर चुके हैं। इस बीच हरियाणा में 25 सितबर को विपक्षी नेताओं का जमावड़ा होने जा रहा है।
ऐसे बना इस रैली का प्लान
बता दे कि पूर्व डिप्टी पीएम देवीलाल की जयंती पर यह एकता रैली होने जा रही है। हिसार के पास होने वाली इस रैली की तैयारी इंडियन नेशनल लोक दल ने की है, जिसमें बिहार के सीएम नीतीश कुमार, टीएमसी की नेता ममता बनर्जी और यूपी के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव मौजूद रहेंगे। देश भर के गैर-भाजपा और गैर-कांग्रेसी नेता एक ही मंच पर होंगे। इनके अलावा नेशनल कॉन्फ्रेंस के अध्यक्ष फारूक अब्दुल्ला, अकाली नेता प्रकाश सिंह बादल, मुलायम सिंह यादव और बिहार के डिप्टी सीएम तेजस्वी यादव भी मौजूद रहेंगे। मंगलवार को नीतीश कुमार और आईएनएलडी के नेता ओमप्रकाश चौटाला की मुलाकात हुई थी, जिसमें इस रैली का फैसला हुआ था।
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इन नेताओं को भी भेजा न्योता
त्यागी ने कहा कि इस रैली में नीतीश, तेजस्वी, अखिलेश यादव, मुलायम सिंह यादव, ममता बनर्जी और फारूक अब्दुल्ला जैसे नेताओं ने आने की बात कही है। इसके अलावा देश के कुछ और नेताओं को निमंत्रण दिया जा रहा है। ऐसे में यह संख्या और ज्यादा हो सकती है। इस रैली के लिए ओपी चौटाला की ओर से शरद पवार, तेलंगाना के सीएम केसीआर और टीडीपी नेता चंद्रबाबू नायडू को भी आमंत्रित करने की तैयारी है। यही नहीं मेघालय के राज्यपाल और मोदी सरकार की लगातार आलोचना कर रहे सत्यपाल मलिक को भी आमंत्रित किया जाएगा। विपक्षी दल एकता की बात तो कर रहे हैं, लेकिन अब तक कांग्रेस को इसमें शामिल करने की कोई बात नहीं की गई है।
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