न्यूज डेस्क
आम्रपाली प्रकरण में पूर्व कप्तान महेन्द्र सिंह धोनी कई बार कह चुके हैं कि आम्रपाली से उनका रिश्ता सिर्फ यही था कि इसके लिए वह विज्ञापन करते हैं। लेकिन आम्रपाली पर बढ़ते शिकंजे और परते खुलने के बाद रिश्ता सिर्फ विज्ञापन तक सीमित नहीं दिख रहा। यह रिश्ता काफी जटिल दिख रहा है।
आम्रपाली प्रकरण से महेंद्र सिंह धोनी का नाम भी जुड़ता दिख रहा है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक धोनी की पत्नी साक्षी धोनी आम्रपाली समूह की एक कंपनी आम्रपाली माही डेवलपर्स प्राइवेट लिमिटेड में निदेशक थीं। सितंबर 2014 तक इस कंपनी के 25 फीसदी शेयर साक्षी के पास थे और बाकी आम्रपाली समूह के मुखिया अनिल शर्मा के पास। 23 जुलाई को ही सुप्रीम कोर्ट ने इस समूह को घर खरीदारों के पैसे में हेर-फेर का दोषी पाते हुए इसका रजिस्ट्रेशन रद्द कर दिया है।
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सुप्रीम कोर्ट को सौंपी गई एक ऑडिट रिपोर्ट के मुताबिक आम्रपाली माही डेवलपर्स प्राइवेट लिमिटेड आम्रपाली समूह की उन 47 कंपनियों में शामिल थी जिनमें लोगों द्वारा अपना घर बनाने के लिए दिए गए पैसे का कथित रूप से ट्रांसफर किया गया। इस रिपोर्ट में आरोप लगाया गया है कि आम्रपाली समूह ने साढ़े पांच हजार करोड़ रु से भी ज्यादा की रकम इन कंपनियों में ट्रांसफर की। सुप्रीम कोर्ट ने अब प्रवर्तन निदेशालय को समूह के निदेशकों के खिलाफ मामला दर्ज करने कहा है।
हालांकि महेंद्र सिंह धोनी भी खुद को आम्रपाली की ठगी का शिकार बता चुके हैं। इसी साल मार्च में उन्होंने सुप्रीम कोर्ट में कहा था कि आम्रपाली समूह पर उनके 40 करोड़ रु बकाया हैं। उनके मुताबिक समूह ने उन्हें ब्रांड एंबेसडर तो बनाया, लेकिन इसके एवज में उन्हें पूरे पैसे का भुगतान नहीं किया।
एक और अवैध डायवर्जन का मामला आया है सामने
आम्रपाली मामले में एक साढ़े 6 करोड़ रुपये के अवैध डायवर्जन का मामला सामने आया है। फॉरेंसिक ऑडिटर्स ने अपनी रिपोर्ट में कहा है कि इस ग्रुप ने रिति स्पोर्ट्स मैनेजमेंट प्राइवेट लिमिटेड को 6 करोड़ 52 लाख रुपये दिए, जो अवैध डायवर्जन था।
इसके लिए आम्रपाली ग्रुप के सीएमडी ने बिना किसी आधिकारिक प्रस्ताव के रिति स्पोर्ट्स मैनेजमेंट प्राइवेट लिमिटेड से करार किए। इस करार के तहत आम्रपाली की शर्त यह थी कि रिति स्पोर्ट्स कंपनी क्रिकेटर महेंद्र सिंह धोनी को ग्रुप के लिए तीन दिन के लिए उपलब्ध कराए। गौरतलब है कि धोनी आम्रपाली ग्रुप के ब्रैंड ऐंबेसडर रह चुके हैं।
24 नवंबर 2009 को हुए करार में लिखा हुआ था कि क्रिकेटर महेंद्र सिंह धोनी रिति स्पोर्ट्स के रिप्रजेंटेटिव के साथ आम्रपाली ग्रुप के सीएमडी के लिए उपलब्ध होंगे।
गौरतलब है कि सुप्रीम कोर्ट ने मंगलवार को दिए फैसले में कहा है कि तमाम कंपनियों के डायरेक्टर्स जिनके पास भी फॉरेंसिक ऑडिटर्स की रिपोर्ट के मुताबिक होम बॉयर्स के पैसे हैं, वे एक महीने में वापस करें, अन्यथा कार्रवाई की जाएगी। साथ ही सुप्रीम कोर्ट ने फेमा के उल्लंघन के मामले में ईडी को जांच के आदेश दिए हैं।