जुबिली न्यूज डेस्क
उत्तर प्रदेश सरकार के पूर्व मंत्री और चर्चित कवयित्री मधुमिता शुक्लाकांड में सजायाफ्ता अमरमणि त्रिपाठी की रिहाई का मामला सुप्रीम कोर्ट पहुंच गया. अमरमणि त्रिपाठी की रिहाई पर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई हुई, जिसमें सुप्रीम कोर्ट ने रिहाई पर रोक लगाने से इनकार कर दिया. कोर्ट ने यूपी सरकार को नोटिस जारी कर जवाब मांगा है. मामले की अगली सुनवाई 8 हफ्ते बाद होगी.
अमरमणि त्रिपाठी और उनकी पत्नी आज शुक्रवार को जेल से रिहा हो रहे है. दोनों कवयित्री मधुमिता शुक्ला की हत्या करने के दोष में गोरखुपर की जेल में उम्रकैद की सजा काट रहे थे. यूपी सरकार ने दोनों को रिहा करने का आदेश दिया था. इस फैसले के खिलाफ मधुमिता शुक्ला की बहन निधि शुक्ला ने सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया था.
गुरुवार रात जारी हुआ रिहाई का आदेश
अमरमणि त्रिपाठी और उनकी पत्नी आज शुक्रवार (25 अगस्त) को जेल से रिहा हो रहे है. दोनों कवयित्री मधुमिता शुक्ला की हत्या करने के दोष में गोरखुपर की जेल में उम्रकैद की सजा काट रहे थे. यूपी सरकार ने दोनों को रिहा करने का आदेश दिया था. इस फैसले के खिलाफ मधुमिता शुक्ला की बहन निधि शुक्ला ने सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया था. मीडिया से बातचीत में निधि ने कहा….
“8 हफ्ते का समय बहुत होता है. अमरमणि ऐसा मास्टरमाइंड है जो 8 हफ्ते में बहुत कुछ मैनेज कर सकता है. हो सकता है कि मेरी हत्या ही कर दे और कोई पैरवी करने वाला ही नहीं बचे. सरकारी कागज बताते हैं कि 2012 से 2023 तक अमरमणि जेल ही नहीं गया. जब जेल ही नहीं गया तो सजा माफी की बात कहां से आती है. मेरी समझ में नहीं आ रहा है कि यूपी में कौन सा कानून चल रहा है.”
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निधि शुक्ला की याचिका पर जस्टिस अनिरुद्ध बोस की कोर्ट में सुनवाई हुई, जहां पर निधि की वकील कामिनी जायसवाल ने कोर्ट को बताया कि अमरमणि त्रिपाठी की रिहाई का आदेश कल (गुरुवार) की रात जारी हुआ है. उन्होंने कहा कि आदेश की भाषा ऐसी है, जैसे रिहाई सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर हो रही है. इसके बाद जस्टिस बोस ने यूपी सरकार को नोटिस जारी करते हुए 8 हफ्ते बाद सुनवाई की तारीख दी.