जुबिली न्यूज डेस्क
पिछले दिनों लखीमपुर में हुई हिंसा के लिए मुख्य आरोपी आशीष मिश्रा के पिता व केंद्रीय मंत्री अजय मिश्रा ने यूपी पुलिस को जिम्मेदार ठहराया है।
अजय मिश्रा ने रविवार को कहा कि लखीमपुर खीरी कांड के दौरान जिन तीन बीजेपी कार्यकर्ताओं की मौत हुई है, वे दुर्भाग्यपूर्ण हैं। जिस तरह से अधिकारियों की मौजूदगी में यह घटना हुई, वह पुलिस और प्रशासन दोनों की लापरवाही को दर्शाता है।
केंद्रीय मंत्री ने सिघा खुर्द गांव में एक प्रार्थना सभा में कहा- “किसानों को एक सड़क पर कब्जा करने की अनुमति दी गई और फिर पुलिस द्वारा मार्ग को बैरिकेड नहीं किया गया। दोषी पुलिसकर्मियों को बख्शा नहीं जाएगा और सरकार उनके खिलाफ जांच करेगी”।
वहीं अजय मिश्रा के इस बयान पर प्रतिक्रिया देते सपा प्रवक्ता अनुराग भदौरिया ने कहा कि भाजपा की आदत है, गलती करके दूसरे पर आरोप लगा देना।
मालूम हो कि कुछ दिनों पहले लखीमपुर खीरी में तीन कृषि कानूनों के विरोध में किसान केशव प्रसाद मौर्या के कार्यक्रम का जब विरोध करने पहुंचे थे, उसी दौरान उनपर पीछे से उन पर गाड़ी चढ़ा दी गई थी। इस घटना में चार किसानों की मौत हो गई थी, जबकि कई घायल हो गए थे।
इसके बाद वहां हिंसा भड़क उठी और तीन बीजेपी कार्यकर्ता और एक स्थानीय पत्रकार की इस हिंसा में मौत हो गई।
किसानों का आरोप है कि केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय मिश्रा के बेटे आशीष मिश्रा की गाडिय़ों ने ही किसानों को रौंदा है। इसके कई वीडियो भी सामने आ चुके हैं।
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इस मामले में काफी विवादों के बाद आशीष मिश्रा को यूपी पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया है। वहीं किसान अब भी अजय मिश्रा के इस्तीफे की मांग पर भी अड़े हैं।
पुलिस ने इस मामले में अब तक आशीष मिश्रा समेत छह लोगों को गिरफ्तार किया है। इस मामले के कई आरोपी अभी भी फरार हैं। जिसमें स्थानीय बीजेपी नेता सुमित जायसवाल भी फरार लोगों में शामिल है।
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सुमित पर भी इस मामले में कई गंभीर आरोप लगे हैं। वीडियो में जायसवाल थार गाड़ी से निकलकर मौके से भागते नजर आ रहा है।
वहीं दूसरी ओर अब पुलिस ने बीजेपी कार्यकर्ताओं की मौत मामले में किसानों को भी नोटिस भेजना शुरू कर दिया है। घटना में दर्ज दूसरी प्राथमिकी में अब स्थानीय किसानों को नोटिस भेजा गया है।
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