न्यूज डेस्क
आतिश अली तासीर एक बार फिर चर्चा में हैं। वहीं आतिश अली जिन्होंने लोकसभा चुनाव से पहले टाइम मैगजीन में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी पर आर्टिकल लिखते हुए उन्हें ‘डिवाइडर इन चीफ’ कहा था। दरअसल लेखक और पत्रकार आतिश अली तासीर का भारत सरकार ने ओसीआई (ओवरसीज सिटीजनशीप ऑफ इंडिया) कार्ड रद्द कर दिया है।
ब्रिटेन में जन्में लेखक आतिश अली तासीर पर पिता के पाकिस्तानी मूल के होने की जानकारी छुपाने का आरोप है। गृह मंत्रालय के प्रवक्ता के अनुसार, ओसीआई कार्ड के लिए आतिश अली तासीर अयोग्य हो गए हैं क्योंकि ओसीआई कार्ड किसी ऐसे व्यक्ति को जारी नहीं किया जाता है जिसके माता-पिता या दादा-दादी पाकिस्तानी हों। तासीर ने यह बात छिपा कर रखी। उन्होंने स्पष्ट रूप से बहुत बुनियादी जरूरतों को पूरा नहीं किया और जानकारी को छुपाया है।
गौरतलब है कि तासीर पाकिस्तान के दिवंगत नेता सलमान तासीर और भारतीय पत्रकार तवलीन सिंह के बेटे हैं।
नागरिकता अधिनियम के मुताबिक अगर किसी व्यक्ति ने धोखे से, फर्जीवाड़ा कर या तथ्य छुपा कर ओसीआई कार्ड हासिल किया है तो ओसीआई कार्ड धारक के रूप में उसका पंजीकरण रद्द कर दिया जाएगा और उसे काली सूची में डाल दिया जाएगा। साथ ही, भविष्य में उसके भारत में प्रवेश करने पर भी रोक लग जाएगी।
वहीं गृह मंत्रालय के प्रवक्ता ने इस बात से इनकार किया कि मोदी सरकार टाइम पत्रिका में आलेख लिखने के बाद से तासीर के ओसीआई कार्ड को रद्द करने पर विचार कर रही थी।
गृह मंत्रालय के बयान पर आतिश अली तासीर ने ट्विटर पर कहा कि उन्हें जवाब देने के लिए 21 दिन नहीं, बल्कि 24 घंटे दिए गए थे।
क्या था मामला
लोकसभा चुनाव से पहले अमेरिका की टाइम मैगजीन में तासीर ने प्रधानमंत्री मोदी पर एक आर्टिकल लिखा था, जिसका शीर्षक था ‘डिवाइडर इन चीफ’। इस आर्टिकल के प्रकाशित के प्रकाशित होने के बाद खूब हंगामा बरपा था। आतिश पर पाकिस्तानी होने का आरोप लगाया गया था। इसके अलावा उस अंक में कवर पेज पर दूसरी पॉलिटिकल साइंटिस्ट इयान ब्रेमर ने लिखा था ‘मोदी द रिफॉर्मर’।
ब्रेमर ने अपने आर्टिकल में पीएम मोदी की आर्थिक नीतियों की जमकर तारीफ की थी और उन्हें भारत के लिए सर्वोत्तम उम्मीद बताया है, लेकिन आतिश तासीर के लेख में मोदी को डिवाइडर इन चीफ यानी देश को बांटने वाला बोलकर उनकी आलोचना की गई थी। ये शब्द यहां नकारात्मक संदर्भ में इस्तेमाल किए गए हैं।
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