जुबिली न्यूज डेस्क
22 अप्रैल को जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए दर्दनाक आतंकी हमले के बाद भारत ने आतंकवाद के खिलाफ सख्त कार्रवाई शुरू कर दी है। इस हमले में 26 टूरिस्टों की मौत हो गई थी, जिनमें दो विदेशी नागरिक भी शामिल थे। हमले के बाद से पूरे देश में गुस्सा है और सुरक्षा एजेंसियां चौकन्ना मोड में आ गई हैं।
डोडा और किश्तवाड़ में बड़ी कार्रवाई
जम्मू-कश्मीर पुलिस ने डोडा जिले के भद्रवाह, भल्ला, गंदोह और साजान इलाकों में 13 ठिकानों पर छापेमारी की है। किश्तवाड़ जिले में भी कई आतंकियों के घरों पर एक साथ रेड की गई। पुलिस का यह ऑपरेशन पाकिस्तान में मौजूद आतंकियों से जुड़े नेटवर्क को खत्म करने के मकसद से चलाया जा रहा है।
कई घरों को ध्वस्त किया गया
सुरक्षा बलों ने डोडा और किश्तवाड़ के अलावा बांदीपोरा, पुलवामा और शोपियां जिलों में भी सक्रिय आतंकियों के 9 घरों को ध्वस्त किया है। यह कदम आतंकियों को साफ संदेश देने के लिए उठाया गया है कि भारत की धरती पर आतंक को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
500 से ज्यादा जगहों पर छापे
महज पांच दिनों में सुरक्षा एजेंसियों ने कश्मीर घाटी में 500 से अधिक स्थानों पर छापे मारे और सैकड़ों संदिग्धों से पूछताछ की है। ऑपरेशन की गति से साफ है कि सरकार आतंकवाद को जड़ से खत्म करने के लिए कोई कसर नहीं छोड़ रही।
भारत का पाकिस्तान के खिलाफ सख्त रुख
पहलगाम हमले के बाद भारत ने पाकिस्तान के खिलाफ भी कड़े कदम उठाए हैं। भारतीय सरकार ने पाकिस्तानियों के वीजा रद्द कर दिए हैं और सिंधु जल संधि को भी स्थगित कर दिया है। इससे दोनों देशों के बीच तनाव और बढ़ गया है।
NIA ने संभाली पहलगाम हमले की जांच
पहलगाम हमले की जांच राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) को सौंपी गई है। NIA ने केस दर्ज कर लिया है और घटनास्थल से मिले साक्ष्यों को फॉरेंसिक जांच के लिए भेजा है। एजेंसी के IG, DIG और SP स्तर के अधिकारी चश्मदीदों और मृतकों के परिजनों के बयान दर्ज कर रहे हैं।