जुबिली स्पेशल डेस्क
‘एक देश एक चुनाव’ के प्रस्ताव को केंद्र सरकार ने मंजूरी दे दी है। गौरतलब हो कि इस साल पूर्व राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद की अध्यक्षता में बनी कमेटी ने एक रिपोर्ट तैयार की थी और फिर इसे राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू को भेजा था।
इस कमेटी ने इसमें दो चरणों में एक साथ चुनाव कराने का सुझाव दिया है। केंद्रीय सूचना प्रसारण मंत्री अश्विनी वैष्णव ने पत्रकारों से बातचीत में कहा कि कैबिनेट ने कमेटी की रिपोर्ट स्वीकार कर ली है. 1967 तक लोकसभा और राज्य विधानसभाओं के चुनाव अधिकांशतः साथ-साथ कराए गए थे. इसके बाद ये चक्र टूट गया था।
अश्विनी वैष्णव ने कहा कि समिति ने 191 दिन इस विषय (एक देश एक चुनाव) पर काम किया। इस विषय पर समिति को 21 हजार 558 प्रतिक्रियाएं मिलीं. इसमें से 80% ने ‘एक देश एक चुनाव’ का समर्थन किया. 47 राजनीतिक दल ने इस पर प्रतिक्रिया दी। 15 को छोड़कर बाकी ने इसका समर्थन किया. समिति ने पूर्व मुख्य न्यायाधीश, हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश, निवार्चन आयुक्त और राज्य निर्वाचन आयुक्तों से इस पर बातचीत की।
सीएम योगी ने क्या दी प्रतिक्रिया
वही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बुधवार को वन नेशन, वन इलेक्शन के प्रस्ताव को मंजूरी देने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंदीय कैबिनेट का आभार जताया। सीएम योगी ने इस निर्णय को देश में राजनीतिक स्थिरता, सतत विकास और समृद्ध लोकतंत्र के लिए ‘मील का पत्थर’ करार दिया।
सीएम योगी ने एक्स पर लिखा, “एक समृद्ध लोकतंत्र के लिए राजनीतिक स्थिरता अत्यंत महत्वपूर्ण है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के यशस्वी नेतृत्व में केंद्रीय कैबिनेट द्वारा वन नेशन, वन इलेक्शन प्रस्ताव को दी गई मंजूरी अभिनंदनीय है। देश में राजनीतिक स्थिरता, सतत विकास और समृद्ध लोकतंत्र की सुनिश्चितता में यह निर्णय ‘मील का पत्थर’ सिद्ध होगा। इस युगांतरकारी निर्णय के लिए उत्तर प्रदेश की जनता की ओर से प्रधानमंत्री जी का हृदय से आभार।” उल्लेखनीय है कि देश में लोकसभा के साथ विधानसभा चुनाव (वन नेशन वन इलेक्शन) करवाने के प्रस्ताव को बुधवार को केंद्रीय कैबिनेट ने मंजूरी दे दी है। अब केंद्र सरकार शीतकालीन सत्र यानी नवंबर-दिसंबर में संसद में इससे संबंधित विधेयक पेश कर सकती है।