जुबिली स्पेशल डेस्क
नई दिल्ली। भारतीय राजनीति में आम आदमी पार्टी काफी नई है लेकिन जनता के बीच उसकी पकड़ काफी मजबूत है। केजरीवाल की पार्टी आम आदमी पार्टी इस वक्त भारतीय राजनीति में तेजीे से आगे बढ़ रही है। दिल्ली में उसकी सत्ता है जबकि पंजाब में उसकी सरकार बन चुकी है। ऐसे में आने वाले दिनों उसका अगला लक्ष्य गुजरात चुनाव है।
गुजरात में बीजेपी की सरकार है लेकिन वहां पर अब आम आदमी पार्टी अपनी पैठ जमाने में जुट गई है लेकिन उससे पहले उसे बड़ा झटका तब लगा जब दिल्ली में नई आबकारी नीति ने उसके लिए परेशानी पैदा कर दी। हालांकि इस पूरे मामले में राजनीति भी तेज हो गई है।
दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया की मुश्किलें तब और बढ़ गई जब सीबीआई ने शुक्रवार को दिल्ली आबकारी नीति 2021-22 में कथित भ्रष्टाचार के सिलसिले में उनके आवास पर छापा मारा। इसके बाद भारतीय जनता पार्टी ने आम आदमी पार्टी के खिलाफ मोर्चा खोल दिया जबकि कांग्रेस सीधे तौर पर भले ही कुछ नहीं बोल रही हो लेकिन पर्दे के पीछे वो भी आम आदमी पार्टी को घेरेने में कोई कसर नहीं छोड़ रही है।
अब सवाल ये है कि आखिर पूरा मामला क्या है जिसमें दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया की मुश्किलें बढ़ा दी है। बताया जा रहा है कि दिल्ली के मुख्य सचिव नरेश कुमार ने उपराज्यपाल विनय कुमार सक्सेना को एक रिपोर्ट दी है। इसी रिपोर्ट के बाद से दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया की मुश्किलें बढ़ गई।
बताया जा रहा है कि उनकी इस रिपोर्ट में कहा गया है कि सिसोदिया पर कमीशन के बदले में शराब की दुकान के लाइसेंसधारियों को अनुचित लाभ देने का आरोप लगाया गया था।
कहा गया कि आप ने फरवरी के पंजाब विधानसभा चुनाव में कथित तौर पर इससे हासिल फंड का इस्तेमाल किया था। इसके बाद उपराज्यपाल विनय कुमार सक्सेना ने देर किये बगैर सीबीआई को सारा मामला सौंप दिया है।
इतना ही नहीं अचानक से सीबीआई भी इस पूरे मामले पर एक्टिव हो गई है। एलजी सक्सेना के सीबीआई जांच की सिफारिश करने के तुरंत बाद सिसोदिया ने 30 जुलाई को घोषणा की कि 1 अगस्त से नई आबकारी नीति को खत्म कर दिया जाएगा. जिससे केवल सरकारी शराब वेंडर ही दिल्ली में शराब बेच सकेंगे।
नई आबकारी नीति के बारे में
दिल्ली सरकार की माने तो दिल्ली में कोई भी नई शराब की दुकान नहीं खोली जाएगी। इतना ही नहीं सरकार कोई ठेका नहीं चलाएगी। इसके साथ ही शहर भर में 849 दुकानों के लिए निजी बोली लगाने वालों को खुदरा लाइसेंस जारी किए जाएंगे, जिन्हें 32 क्षेत्रों में विभाजित किया जाएगा। बाजारों, मॉल, वाणिज्यिक सडक़ों/क्षेत्रों, स्थानीय शॉपिंग कॉम्प्लेक्स और ऐसे अन्य स्थानों में स्टोर खोलने की इजाजत दी गई। सरकार ने लाइसेंसधारियों के लिए नियमों को भी लचीला बनाया है।सरकार ने लाइसेंसधारियों के लिए नियमों को भी लचीला बनाया